PM मोदी की तरफ टकटकी भरी निगाहों से देख रहे थे यूनुस, प्रधानमंत्री ने एक ही बार में पूरी कर दी मुराद

युनूस चीन जाने से पहले भारत आने की कोशिश कर रहे थे, लेकिन उन्हें भारतीय पक्ष से कोई सकारात्मक प्रतिक्रिया नहीं मिली.

Yunus staring at PM Modi Prime Minister fulfilled his wish
पीएम मोदी-यूनुस | Photo: ANI

बांग्लादेश के चीफ एडवाइजर मुहम्मद युनूस पिछले कुछ समय से भारत की ओर ध्यान दे रहे हैं. उन्हें यह बात अच्छी तरह से समझ में आ गई है कि भारत के साथ अच्छे रिश्ते बनाए रखना जरूरी है, क्योंकि भारत से संबंध खराब करने से बांग्लादेश को लंबे समय तक कोई फायदा नहीं हो सकता. इसीलिए, युनूस बैंकॉक में होने वाली BIMSTEC समिट में भारत के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के साथ द्विपक्षीय वार्ता करना चाहते हैं. हालांकि, भारत की ओर से अभी तक इस पर कोई जवाब नहीं आया है.

इसके अलावा, युनूस चीन जाने से पहले भारत आने की कोशिश कर रहे थे, लेकिन उन्हें भारतीय पक्ष से कोई सकारात्मक प्रतिक्रिया नहीं मिली. अब, इन सब घटनाओं के बीच, प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने बांग्लादेश के राष्ट्रीय दिवस पर युनूस को एक पत्र भेजा, जिससे बांग्लादेश को कुछ राहत मिली है. पीएम मोदी ने इस पत्र में बांग्लादेश के स्वतंत्रता संग्राम की भावना को याद करते हुए, दोनों देशों के रिश्तों को बढ़ाने की बात की.

प्रधानमंत्री मोदी का संदेश

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने बांग्लादेश के स्वतंत्रता दिवस पर युनूस को पत्र लिखकर उन्हें शुभकामनाएं दीं. उन्होंने कहा कि 1971 के मुक्ति संग्राम की भावना आज भी भारत और बांग्लादेश के रिश्तों के लिए प्रेरणा का काम करती है. पीएम मोदी ने यह भी लिखा कि दोनों देशों के बीच रिश्ते कई क्षेत्रों में मजबूत हुए हैं और इनसे हमारे लोगों को सीधे फायदा मिल रहा है.

पीएम मोदी ने आगे कहा, "हम शांति, स्थिरता और समृद्धि के लिए अपनी साझा आकांक्षाओं और एक-दूसरे के हितों और चिंताओं को समझते हुए इस साझेदारी को और मजबूत करने के लिए प्रतिबद्ध हैं." 5 अगस्त 2024 को बांग्लादेश की अवामी लीग सरकार के पतन के बाद, दोनों देशों के रिश्तों में तनाव आ गया था. इसके बाद बांग्लादेश की प्रधानमंत्री शेख हसीना भारत आईं और युनूस ने अंतरिम सरकार के मुख्य सलाहकार के रूप में कार्यभार संभाला.

BIMSTEC समिट में संभावित बैठक

प्रधानमंत्री मोदी और मुहम्मद युनूस अगले महीने बैंकॉक में होने वाली BIMSTEC समिट में हिस्सा लेंगे, जो 3-4 अप्रैल को आयोजित होगी. युनूस पीएम मोदी के साथ द्विपक्षीय वार्ता करना चाहते हैं, लेकिन भारत की ओर से इस पर अभी तक कोई आधिकारिक जवाब नहीं आया है. भारत के विदेश मंत्री एस जयशंकर ने संसद में कहा था कि बांग्लादेश की अपील पर विचार किया जा रहा है.

इस बीच, युनूस चीन की यात्रा पर हैं, लेकिन इससे पहले वह भारत आना चाहते थे. युनूस के प्रेस सचिव शफीकुल आलम ने कहा कि उन्होंने पिछले साल दिसंबर में ही भारतीय पक्ष से द्विपक्षीय यात्रा की इच्छा जाहिर की थी, लेकिन दुर्भाग्यवश कोई सकारात्मक जवाब नहीं मिला.

भारत का रुख क्या है?

भारत फिलहाल बांग्लादेश को ज्यादा महत्व देने के मूड में नहीं है, और समय-समय पर उसे संकेत देता रहता है. भारत के विदेश मंत्रालय ने हाल ही में एक संसदीय समिति को बताया कि बांग्लादेश सरकार ने अल्पसंख्यकों के उत्पीड़न के मुद्दे को स्वीकार नहीं किया है और शेख हसीना की सरकार के गिरने के बाद बांग्लादेश में हिंदुओं के खिलाफ हिंसा के पैमाने को कम कर के दिखाने की कोशिश की है. इसके अलावा, मंत्रालय ने इस्लामी शासन की स्थापना की विचारधारा को बढ़ावा देने वाले चरमपंथी समूहों के बारे में भी चिंता जताई है, जिन्होंने बांग्लादेश की राजनीतिक शून्यता का फायदा उठाया है.

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