इस्लामाबाद: पहलगाम में हुए आतंकी हमले के बाद पाकिस्तान के सेना प्रमुख जनरल असीम मुनीर पर गंभीर आरोप लग रहे हैं. सूत्रों के अनुसार, माना जा रहा है कि इस हमले की योजना असीम मुनीर ने सत्ता में अपनी पकड़ मजबूत करने और कार्यकाल विस्तार की मंशा से रची. पाकिस्तानी सैन्य विश्लेषकों और वरिष्ठ पत्रकारों के अनुसार, देश को भारत के साथ एक संभावित टकराव की ओर धकेलना इसी व्यापक रणनीति का हिस्सा है.
जनता से कट चुकी है सेना
पाकिस्तान के वरिष्ठ विश्लेषक आफताब इकबाल ने इस पर प्रतिक्रिया देते हुए कहा कि इतिहास में पहली बार पाकिस्तान की अवाम, सेना के साथ खड़ी नहीं दिखाई दे रही है. सेना बार-बार जनता से समर्थन मांग रही है, लेकिन व्यापक असहमति और अविश्वास का माहौल बन गया है. इकबाल का मानना है कि मौजूदा हालात भारत के लिए भी एक निर्णायक क्षण प्रस्तुत कर रहे हैं.
जानबूझकर तनाव बढ़ाने का आरोप
आफताब इकबाल समेत कई जानकारों का मानना है कि असीम मुनीर ने जानबूझकर भारत के खिलाफ भड़काऊ माहौल तैयार किया है, ताकि एक युद्ध जैसे हालात बनें और वह खुद को एक 'युद्धकालीन नेता' के रूप में स्थापित कर सकें. इस बार पाकिस्तान को न तो घरेलू समर्थन मिल रहा है और न ही अंतरराष्ट्रीय स्तर पर पुराने सहयोगियों (जैसे तुर्की, अजरबैजान और चीन को छोड़कर) का पूरा समर्थन.
गहरी होती साजिश की परतें
एक हालिया रिपोर्ट के मुताबिक, प्रवासी पाकिस्तानियों के सम्मेलन में असीम मुनीर के भड़काऊ भाषण से साफ था कि वे देश के भीतर अस्थिरता का माहौल बना रहे हैं. मनी कंट्रोल की रिपोर्ट्स के अनुसार, पीओके के आसपास संदिग्ध सैन्य हलचल देखी गई है, जो पाकिस्तान की ओर से संभावित भारतीय प्रतिक्रिया की तैयारी का संकेत देती है.
पाकिस्तान के पूर्व सैन्य अधिकारी आदिल रजा ने भी गंभीर आरोप लगाए हैं. उन्होंने दावा किया कि असीम मुनीर ने अपने कार्यकाल को बढ़ाने के लिए पहलगाम हमले की साजिश रची है. उनका कार्यकाल नवंबर में समाप्त होने वाला है, लेकिन वह इसे पांच साल तक बढ़वाने की योजना बना रहे हैं, जैसा कभी जनरल जिया-उल-हक ने किया था.
Pakistani intelligence suggests that Asim Munir ordered the Pahalgam terror attack to secure a five-year tenure as Pakistan's Super King, extendable by another five years like Zia-ul-Haq, risking the country's regression and regional stability. pic.twitter.com/zB3JgUbn0I
— Adil Raja (@soldierspeaks) April 28, 2025
लोकतंत्र बनाम सैन्य तानाशाही
वरिष्ठ पत्रकार अहमद नूरानी ने भी इस मुद्दे पर तीखी टिप्पणी करते हुए कहा कि "भारत में तमाम समस्याओं के बावजूद लोकतंत्र जिंदा है, जबकि पाकिस्तान में सेना प्रमुख देश के वास्तविक शासक बन चुके हैं." उन्होंने आरोप लगाया कि असीम मुनीर संसद से भी अपने हित में आदेश पारित करवाने की कोशिश कर रहे हैं ताकि सत्ता में बने रह सकें.
If linking #PahalgamTerrorAttack with the retirement of Pakistan Army Chief Gen Asim Munir in November 2025 (after seven months) and his desire for an extension is correct? pic.twitter.com/vysUOKD1Dc
— Ahmad Noorani (@Ahmad_Noorani) April 27, 2025
नूरानी और रजा दोनों का मानना है कि पाकिस्तान धीरे-धीरे एक ऐसे रास्ते पर जा रहा है, जहां सैन्य साजिशें और सत्ता की भूख, देश को एक और गहरे संकट में धकेल सकती हैं.
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