अफगानिस्तान-पाकिस्तान में युद्ध जैसे हालात! पाक आर्मी ने सील किया बॉर्डर, व्यापार पर लटकी तलवार

    पाकिस्तान के खैबर पख्तूनख्वा इलाके में हुए आत्मघाती हमले ने दोनों देशों के रिश्तों में दरार को और गहरा कर दिया है. इस हमले में पाकिस्तान की सेना के 13 जवान मारे गए.

    War like situation in Afghanistan Pakistan Army sealed border
    प्रतीकात्मक तस्वीर | Photo: Freepik

    पाकिस्तान और अफगानिस्तान के बीच एक बार फिर हालात बिगड़ने लगे हैं. शनिवार को पाकिस्तान के खैबर पख्तूनख्वा इलाके में हुए आत्मघाती हमले ने दोनों देशों के रिश्तों में दरार को और गहरा कर दिया है. इस हमले में पाकिस्तान की सेना के 13 जवान मारे गए. इसके तुरंत बाद पाकिस्तान ने अफगानिस्तान के साथ लगती अपनी एक अहम सीमा चौकी गुलाम खान क्रॉसिंग को बंद कर दिया. इससे न सिर्फ लोगों की आवाजाही पर असर पड़ा है, बल्कि दोनों देशों के बीच व्यापार भी रुक गया है.

    हमला, शक और सख्त कदम

    पाकिस्तान ने इस हमले के लिए सीधे तौर पर अफगानिस्तान की धरती से काम कर रहे आतंकवादी संगठनों को जिम्मेदार ठहराया है. यही नहीं, पाकिस्तान ने भारत पर भी परोक्ष रूप से उंगली उठाई है. लेकिन अब तक किसी गुट ने हमले की जिम्मेदारी नहीं ली है.

    पाकिस्तानी सेना के एक वरिष्ठ अधिकारी के मुताबिक, उत्तरी वजीरिस्तान के मीर अली इलाके में सैन्य काफिले पर यह आत्मघाती हमला हुआ. इसके बाद पाकिस्तान ने गुलाम खान बॉर्डर को तत्काल बंद कर दिया. इस बॉर्डर से रोजाना हजारों लोग और व्यापारिक गाड़ियाँ आवाजाही करती थीं.

    तालिबान को नहीं दी गई कोई जानकारी

    अफगान सीमा बल के प्रवक्ता अब्दुल्ला फारूकी ने पुष्टि की है कि पाकिस्तानी अधिकारियों ने बिना कोई औपचारिक सूचना दिए बॉर्डर सील कर दिया. अब अफगान नागरिकों और व्यापारियों को वैकल्पिक रूट जैसे तोरखम या स्पिन बोल्डक का इस्तेमाल करने की सलाह दी गई है.

    गुलाम खान क्रॉसिंग अफगानिस्तान के खोस्त प्रांत में स्थित है और यह पाकिस्तान के उत्तरी वजीरिस्तान को सीधे जोड़ता है. यह व्यापारिक दृष्टि से एक बेहद महत्वपूर्ण रूट है, खासकर उन इलाकों के लिए जो पहले से ही अस्थिरता का सामना कर रहे हैं.

    तनाव नया नहीं है, लेकिन पुराना जख्म फिर हरा हो गया

    पाकिस्तान और अफगानिस्तान के बीच सीमा विवाद और विश्वास की कमी कोई नई बात नहीं है. इस साल की शुरुआत में भी दोनों देशों की सेनाओं के बीच गोलीबारी हुई थी, जिसके चलते तोरखम और चमन जैसी महत्वपूर्ण सीमाएं बंद करनी पड़ी थीं. उस वक्त भी दोनों तरफ से आरोप-प्रत्यारोप चले थे.

    हाल ही में चीन की मध्यस्थता के बाद दोनों देशों के रिश्तों में थोड़ी नरमी आई थी, लेकिन ताज़ा घटना ने उस भरोसे को फिर से झटका दिया है. पाकिस्तान लंबे समय से यह आरोप लगाता रहा है कि अफगानिस्तान में छिपे आतंकी संगठन उसकी जमीन पर हमले कर रहे हैं. हालांकि, तालिबान सरकार ने हमेशा इन आरोपों से इंकार किया है.

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