हाल ही में भारत द्वारा सफलतापूर्वक चलाए गए ऑपरेशन सिंदूर के बाद जहां एक ओर भारतीय सुरक्षा बलों को व्यापक सराहना मिल रही है, वहीं दूसरी ओर पाकिस्तान के प्रधानमंत्री शहबाज शरीफ इस सैन्य पराजय पर पर्दा डालने की कोशिश में लगे हैं. कराची दौरे के दौरान उन्होंने पाकिस्तानी नौसेना और एयरफोर्स की झूठी बहादुरी की कहानियां सुनाकर भारत को एक बार फिर से अप्रत्यक्ष रूप से धमकाने की कोशिश की.
शहबाज शरीफ का दावा झूठ या प्रचार?
पाकिस्तानी अखबार डॉन के अनुसार, शहबाज शरीफ ने कहा कि अगर भारत ने पाकिस्तानी जलसीमा में दाखिल होने की कोशिश की होती, तो पाकिस्तानी नौसेना मुंहतोड़ जवाब देती. उन्होंने ये भी दावा किया कि भारत का स्वदेशी विमानवाहक पोत आईएनएस विक्रांत पाक जलसीमा के करीब था, जिसे पाक एयरफोर्स ने भारी नुकसान पहुंचाया. शहबाज के मुताबिक, इसी वजह से विक्रांत को पीछे हटना पड़ा.
लेकिन यह दावा तथ्यों से मेल नहीं खाता. भारतीय नौसेना के सूत्रों ने इस बयान को "पूरी तरह मनगढंत और प्रचारात्मक" बताया है. हकीकत यह है कि भारतीय नौसेना ने ऑपरेशन सिंदूर के दौरान पूरी रणनीति और सटीकता के साथ पाकिस्तान और POK में आतंकी ठिकानों को ध्वस्त किया था, जिससे पाकिस्तान की सेना और आतंकी ढांचे को तगड़ा झटका लगा.
भारत की सधी हुई सैन्य कार्रवाई
ऑपरेशन सिंदूर की शुरुआत के साथ ही भारत ने आईएनएस विक्रांत जैसे अत्याधुनिक पोत को समुद्र में उतारकर अपना सैन्य संदेश स्पष्ट कर दिया था. पाकिस्तान ने युद्धाभ्यास शुरू करने की कोशिश की, लेकिन भारतीय जवाबी रणनीति के आगे उसे हार माननी पड़ी. भारतीय वायुसेना ने पाकिस्तान के पांच फाइटर जेट मार गिराए, साथ ही पाकिस्तानी ड्रोन और मिसाइल हमलों को भी नाकाम किया. इन सटीक सैन्य कार्रवाईयों ने भारत की सैन्य क्षमता और रणनीतिक मजबूती को एक बार फिर सिद्ध कर दिया.
दोनों देशों में अब सीजफायर पर सहमति
इन घटनाओं के बाद, भारत और पाकिस्तान के बीच सीजफायर पर अस्थायी सहमति बनी है. लेकिन विशेषज्ञों का मानना है कि पाकिस्तान द्वारा की जा रही झूठी बयानबाज़ी और गैरजिम्मेदाराना बयानों से स्थिति फिर से बिगड़ सकती है.
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