आज जब दुनिया तकनीक के नए आयाम छू रही है, ऐसे में जर्मनी की स्टार्टअप कंपनी "Tomorrow Bio" एक ऐसा दावा कर रही है जिसे सुनकर कोई भी चौंक सकता है. यह कंपनी लोगों की डेड बॉडी या सिर्फ उनके ब्रेन को फ्रीज करके भविष्य में पुनर्जीवित करने का वादा कर रही है. इस प्रक्रिया को कहा जाता है क्रायो-प्रिजर्वेशन (Cryopreservation), जिसमें मृत शरीर को -198 डिग्री सेल्सियस तक ठंडा कर बायोस्टैसिस (Biostasis) की स्थिति में रख दिया जाता है ताकि शरीर सड़-गल न सके.
कीमत कितनी है?
कैसे होती है क्रायो-प्रिजर्वेशन प्रक्रिया?
जब किसी व्यक्ति की मौत होती है, तब कंपनी की विशेष टीम तुरंत कार्रवाई में लग जाती है. यूरोपीय देशों में उनकी खास एम्बुलेंस सेवा शरीर को तुरंत स्विट्ज़रलैंड के मेन सेंटर ले जाती है. वहां स्टील कंटेनर में लिक्विड नाइट्रोजन के जरिए शरीर को -198°C पर दस दिन तक रखा जाता है ताकि तापमान स्थिर हो और शरीर को लंबी अवधि तक सुरक्षित रखा जा सके.
कितने लोग "फ्रीज होकर लौटने" की कतार में हैं?
टुमारो बायो की वेबसाइट के अनुसार, अभी तक 6 लोगों और 5 पालतू जानवरों को क्रायो-फ्रीज किया जा चुका है. साथ ही, 650 से अधिक लोग इस सेवा के लिए पंजीकरण कर चुके हैं और "पुनर्जन्म" की प्रतीक्षा कर रहे हैं.
क्या वाकई संभव है पुनर्जीवन?
फिलहाल यह तकनीक पूरी तरह कारगर नहीं है, लेकिन कंपनी का मानना है कि भविष्य में तकनीक इतनी उन्नत हो जाएगी कि फ्रीज किए गए शरीर या मस्तिष्क को फिर से जीवन में लाया जा सकेगा.
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