खुलेगी एपस्टीन सेक्स स्कैंडल की फाइल, क्या हटाया क्या छिपाया सब बताना होगा, ट्रंप की बढ़ेगी परेशानी?

    अमेरिका में बहुचर्चित जेफ्री एपस्टीन सेक्स स्कैंडल से जुड़ी फाइलें 19 दिसंबर को सार्वजनिक की जानी हैं.

    Epstein sex scandal file will be opened many powerful people
    Image Source: Social Media

    Epstein Scandal Files: अमेरिका में बहुचर्चित जेफ्री एपस्टीन सेक्स स्कैंडल से जुड़ी फाइलें 19 दिसंबर को सार्वजनिक की जानी हैं. ट्रंप प्रशासन के इस फैसले के बाद अमेरिका ही नहीं, पूरी दुनिया की निगाहें इन दस्तावेजों पर टिकी हुई हैं. माना जा रहा है कि इन फाइलों में हजारों पन्नों के दस्तावेज, करीब 95 हजार तस्वीरें, बैंकिंग लेनदेन का पूरा ब्यौरा और कई बेहद प्रभावशाली लोगों के नाम शामिल हैं.

    इन फाइलों के सामने आने के बाद यह स्पष्ट हो सकता है कि एपस्टीन ने नाबालिग लड़कियों के यौन शोषण और कथित तस्करी का नेटवर्क किन लोगों के साथ मिलकर चलाया और यह सिलसिला इतने वर्षों तक कैसे छिपा रहा.

    दशकों से सवालों में रही एपस्टीन की जिंदगी

    जेफ्री एपस्टीन लंबे समय से अपनी आलीशान जीवनशैली, निजी जेट, निजी द्वीप और दुनिया की नामचीन हस्तियों से करीबी संबंधों को लेकर चर्चा में रहा है. उस पर नाबालिग लड़कियों के यौन शोषण और तस्करी के गंभीर आरोप लगे थे. उसकी गिरफ्तारी के बाद 2019 में जेल में हुई संदिग्ध मौत ने मामले को और रहस्यमय बना दिया.

    लोग लगातार यह जानना चाहते रहे हैं कि एपस्टीन के संपर्क में कौन-कौन से नेता, कारोबारी, फिल्मी सितारे और विदेशी हस्तियां थीं और क्या इन लोगों को उसके अपराधों की जानकारी थी.

    किन दस्तावेजों के सार्वजनिक होने की संभावना

    सरकार द्वारा जारी की जाने वाली फाइलों में एपस्टीन से जुड़े आधिकारिक और निजी दस्तावेज शामिल हो सकते हैं. इनमें उसकी करीबी सहयोगी और पूर्व प्रेमिका गिस्लेन मैक्सवेल से जुड़े रिकॉर्ड, एपस्टीन के निजी विमानों की उड़ान से संबंधित लॉग, फोरेंसिक रिपोर्ट्स, बैंक अकाउंट और वित्तीय लेनदेन, 2019 में हुई उसकी मौत से जुड़े दस्तावेज और उन व्यक्तियों या कंपनियों की जानकारी शामिल हो सकती है जिनका किसी भी रूप में उससे संबंध रहा.

    फाइलें जारी होने के बाद सरकार पर जवाबदेही

    इन दस्तावेजों के सामने आने के बाद अमेरिकी सरकार को यह स्पष्ट करना होगा कि किन हिस्सों को सार्वजनिक किया गया और किन जानकारियों को छिपाया गया. साथ ही यह भी बताना होगा कि दस्तावेजों के किन अंशों को काला किया गया है और उसके पीछे क्या कानूनी या सुरक्षा कारण हैं.

    सरकार को उन सभी सरकारी अधिकारियों और राजनीतिक रूप से प्रभावशाली लोगों की सूची भी देनी होगी, जिनका नाम या जिक्र इन फाइलों में आता है. यह जानकारी फाइलें जारी होने के 15 दिनों के भीतर सार्वजनिक करना अनिवार्य होगा.

    कितना नया होगा, यह अब भी सवाल

    हालांकि, यह अभी साफ नहीं है कि इन फाइलों में कितना ऐसा नया तथ्य होगा जो अब तक सामने नहीं आया है. बीते लगभग दो दशकों में एपस्टीन के अपराधों से जुड़े हजारों दस्तावेज पहले ही दीवानी मुकदमों, कोर्ट रिकॉर्ड और सूचना के अधिकार (FOIA) के जरिए सार्वजनिक हो चुके हैं.

    फिर भी माना जा रहा है कि इस बार दस्तावेजों की संख्या और विस्तार पहले से कहीं अधिक होगा.

    किन हालात में जानकारी छिपा सकती है सरकार

    कानून के मुताबिक किसी दस्तावेज को सिर्फ इसलिए रोका नहीं जा सकता कि उससे किसी की छवि खराब होगी, शर्मिंदगी होगी या मामला राजनीतिक रूप से संवेदनशील है. यह नियम सभी पर समान रूप से लागू होता है, चाहे वह कोई बड़ा नेता हो या विदेशी हस्ती.

    हालांकि कुछ विशेष परिस्थितियों में सरकार को जानकारी छिपाने की छूट मिलती है. इसमें पीड़ितों की निजी पहचान से जुड़ी जानकारी, बच्चों के यौन शोषण से संबंधित सामग्री, शारीरिक हिंसा को दर्शाने वाली सामग्री, ऐसी जानकारी जिससे चल रही जांच प्रभावित हो सकती हो, या फिर राष्ट्रीय सुरक्षा और विदेश नीति से जुड़ी संवेदनशील सूचनाएं शामिल हैं.

    कानूनी छूट को लेकर आशंकाएं

    ट्रंप प्रशासन के आलोचकों का मानना है कि सरकार इन कानूनी अपवादों का इस्तेमाल कर कुछ अहम फाइलों को रोक सकती है. यह आशंका इसलिए भी जताई जा रही है क्योंकि अमेरिकी न्याय विभाग (DOJ) ने एपस्टीन के प्रभावशाली संपर्कों को लेकर एक नई जांच शुरू की है.

    इस जांच में पूर्व राष्ट्रपति बिल क्लिंटन, डेमोक्रेट पार्टी के बड़े दानदाता रीड हॉफमैन, अर्थशास्त्री लैरी समर्स और जेपी मॉर्गन चेज जैसे नामों का उल्लेख सामने आ चुका है. चूंकि जांच जारी है, इसलिए सरकार यह तर्क दे सकती है कि कुछ जानकारी सार्वजनिक करने से जांच प्रभावित होगी.

    मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक FBI को एपस्टीन के मैनहटन स्थित घर से हजारों नग्न या अर्धनग्न युवतियों की तस्वीरें मिली थीं, जिन्हें सार्वजनिक नहीं किया जाएगा.

    पहले से क्या-क्या सामने आ चुका है

    एपस्टीन केस से जुड़े कई दस्तावेज पहले ही सार्वजनिक हो चुके हैं. इनमें गिस्लेन मैक्सवेल का 2021 में हुआ आपराधिक ट्रायल, जस्टिस डिपार्टमेंट की रिपोर्टें और कई दीवानी मुकदमों से जुड़े कागजात शामिल हैं.

    इस साल की शुरुआत में ट्रंप प्रशासन के दौरान जस्टिस डिपार्टमेंट और FBI ने कुछ गोपनीय फाइलें जारी की थीं, लेकिन उन पर यह आरोप लगा कि उनमें अधिकांश जानकारी पहले से ही सार्वजनिक थी.

    हाल ही में हाउस ओवरसाइट कमेटी ने भी एपस्टीन की संपत्ति से जुड़े कई दस्तावेज और तस्वीरें जारी की थीं.

    तस्वीरों में दिखे चर्चित नामों से मचा विवाद

    एपस्टीन की संपत्ति से सामने आई कुछ तस्वीरों में कई जानी-मानी हस्तियों को उसके साथ देखा गया है. इन तस्वीरों से किसी पर सीधे तौर पर अपराध का आरोप साबित नहीं होता, लेकिन इससे विवाद और सवाल जरूर खड़े हुए हैं.

    इनमें डोनाल्ड ट्रंप, पूर्व राष्ट्रपति बिल क्लिंटन, अरबपति बिल गेट्स, ब्रिटेन के प्रिंस एंड्रयू, ट्रंप के पूर्व सलाहकार स्टीव बैनन, हार्वर्ड के पूर्व अध्यक्ष लैरी समर्स, फिल्म निर्माता वुडी एलन, कारोबारी रिचर्ड ब्रैनसन और प्रसिद्ध वकील एलन डर्शोविट्ज जैसे नाम शामिल हैं.

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