संभल: चार महीने पहले हुई हिंसा के मामले में पुलिस ने जामा मस्जिद कमेटी के अध्यक्ष जफर अली को गिरफ्तार कर लिया है. रविवार सुबह 11 बजे पुलिस ने उन्हें उनके आवास से हिरासत में लिया और करीब चार घंटे तक कोतवाली में पूछताछ की. इसके बाद उन्हें चंदौसी की एडीजे कोर्ट द्वितीय ले जाया गया.
गिरफ्तारी के बाद समर्थकों में हलचल
जफर अली की गिरफ्तारी की खबर मिलते ही उनके समर्थकों में हलचल मच गई. कुछ अधिवक्ता और स्थानीय लोग पुलिस वाहन के पीछे दौड़ते दिखे और उनके समर्थन में नारेबाजी भी की गई. हालात को देखते हुए पुलिस ने इलाके में कड़ी सुरक्षा व्यवस्था लागू कर दी है. लगभग 200 जवानों को तैनात किया गया है, जिसमें रैपिड रिएक्शन फोर्स (RRF) के 50 जवान भी शामिल हैं.
क्या है मामला?
24 नवंबर को जामा मस्जिद के सर्वे के दौरान हिंसा भड़क गई थी. इसके एक दिन बाद 25 नवंबर को पुलिस ने जफर अली से पूछताछ की थी. अब, जांच के आधार पर उन्हें गिरफ्तार किया गया है. पुलिस का कहना है कि जफर अली पर हिंसा भड़काने की साजिश रचने का आरोप है. हालांकि, उनके परिवार और समर्थकों का दावा है कि यह गिरफ्तारी अन्य कारणों से की गई है.
गिरफ्तारी के समय की स्थिति
गिरफ्तारी के समय जफर अली अपनी अधिवक्ता की पोशाक में थे और उन्होंने काला कोट हाथ में ले रखा था. पुलिस सुरक्षा के बीच उन्हें जीप में बिठाया गया. इस दौरान उन्होंने हाथ हिलाकर समर्थकों का अभिवादन किया. गिरफ्तारी के बाद उन्हें चंदौसी कोर्ट ले जाया गया, जहां उनके खिलाफ दर्ज मामलों पर सुनवाई होगी.
परिवार का बयान
जफर अली के बड़े भाई ताहिर अली ने कहा कि पुलिस ने उन्हें बयान देने से रोकने के लिए गिरफ्तार किया है. उनका दावा है कि हिंसा के दौरान पुलिस की गोलीबारी में लोग मारे गए थे और जफर अली इस सच्चाई को बताने के लिए तैयार थे. उन्होंने कहा कि वे कानूनी लड़ाई लड़ेंगे और न्याय की मांग करेंगे.
प्रशासन की सख्ती
अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक (ASP) श्रीश्चंद्र ने बताया कि इलाके में सुरक्षा व्यवस्था को मजबूत किया गया है. पुलिस की गश्त बढ़ा दी गई है और स्थानीय निवासियों से शांति बनाए रखने की अपील की गई है. प्रशासन ने स्पष्ट किया कि कानून व्यवस्था को किसी भी कीमत पर प्रभावित नहीं होने दिया जाएगा.
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