Iran Israel War: मध्य-पूर्व में छिड़ी जंग के छठे दिन इज़रायल के प्रधानमंत्री बेंजामिन नेतन्याहू ने राष्ट्र को संबोधित करते हुए जंग के मकसद, अब तक की प्रगति और आगे की रणनीति को स्पष्ट किया. उन्होंने दो टूक कहा कि यह लड़ाई सिर्फ सैन्य शक्ति की नहीं, बल्कि राष्ट्रीय अस्तित्व की है. प्रधानमंत्री ने अपने संदेश में कहा कि इज़रायल ने ‘ऑपरेशन आम कलावी’ इसलिए शुरू किया है क्योंकि देश दो बेहद खतरनाक चुनौतियों से घिरा हुआ है. पहला, ईरान के परमाणु हथियार कार्यक्रम का खतरा और दूसरा, बैलिस्टिक मिसाइलों की बढ़ती मारक क्षमता.
"तेहरान पर हमारी पकड़ मजबूत है"
नेतन्याहू ने जोर देकर कहा, “हम तेहरान के आसमान को नियंत्रित कर चुके हैं. हम ईरान की ताकत के प्रतीकों को निशाना बना रहे हैं. उनके परमाणु ठिकानों, सैन्य मुख्यालयों और मिसाइल लांच पैड्स को. हमारी कार्रवाई योजनाबद्ध और निर्णायक है.”
दुनिया भर से मिल रहा समर्थन
इज़रायली प्रधानमंत्री ने कहा कि उन्हें लगातार दुनिया भर के नेताओं से समर्थन मिल रहा है. “हमारी जनता के हौसले और हमारी सेना की बहादुरी की सभी तारीफ कर रहे हैं,” नेतन्याहू ने कहा. “हमने अपने कई नागरिक और जवान खोए हैं, यह बेहद दुखद है, लेकिन देश की एकता और जज़्बा पहले से कहीं अधिक मजबूत हुआ है.”
गाज़ा मोर्चे पर दो साफ लक्ष्य
गाज़ा में जारी संघर्ष को लेकर नेतन्याहू ने कहा कि इज़रायल के सामने दो प्रमुख लक्ष्य हैं. हमास को पूरी तरह से समाप्त करना. बंधकों की सुरक्षित वापसी सुनिश्चित करना, चाहे वे जीवित हों या नहीं. उन्होंने कहा, “हम पीछे नहीं हटेंगे. हमारे सैनिकों की शहादत व्यर्थ नहीं जाएगी. यह एक निर्णायक संघर्ष है, और हम हर मोर्चे पर डटे रहेंगे.”
डोनाल्ड ट्रंप को बताया 'सच्चा मित्र'
प्रधानमंत्री नेतन्याहू ने अमेरिका के पूर्व राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के प्रति विशेष आभार जताते हुए उन्हें “इज़रायल का सच्चा मित्र” बताया. उन्होंने कहा कि ट्रंप के साथ उनकी हाल ही में गर्मजोशी से भरी बातचीत हुई और ट्रंप ने हर कदम पर समर्थन जताया.
"लक्ष्य एक ही है जीत और सुरक्षा"
प्रधानमंत्री के इस संबोधन से यह साफ संकेत मिला है कि इज़रायल जंग को लेकर कोई समझौता नहीं करने वाला. सुरक्षा, संप्रभुता और नागरिकों की रक्षा के लिए देश हर चुनौती का सामना करने को तैयार है. अब पूरी दुनिया की नजर इस जंग के अगले अध्याय पर है.क्या इज़रायल अपने घोषित मिशन में सफल होगा? या पश्चिम एशिया में यह संघर्ष और गहराएगा?
यह भी पढ़ेंः इजरायल अब सुरक्षित नहीं! आयरन डोम में आई दरार, युद्ध बढ़ा तो ट्रंप के सामने फैलाना पड़ेगा हाथ