तेल अवीव/गाजा: गाजा पट्टी में चल रहे लंबे संघर्ष के बीच एक बड़ी और मानवीय पहल सामने आई है. इजरायल और हमास के बीच युद्धविराम की घोषणा के बाद बंधकों की रिहाई की प्रक्रिया शुरू हो गई है. इसी क्रम में सोमवार को हमास ने सात इजरायली बंधकों को अंतरराष्ट्रीय रेड क्रॉस समिति को सौंप दिया. इसके साथ ही इजरायल में राहत और खुशी का माहौल बन गया है.
इजरायली रक्षा बलों (IDF) के अनुसार, रेड क्रॉस की टीम ने गाजा पट्टी के उत्तरी हिस्से में इन बंधकों को हमास से लिया और इन्हें इजरायल लाने की प्रक्रिया शुरू की. बंधकों के वापस आने की सूचना मिलते ही उनके परिवार, दोस्त और बड़ी संख्या में नागरिक तेल अवीव सहित अन्य शहरों में जमा हो गए और इस पल को भावुकता और जश्न के साथ साझा किया.
बड़ी संख्या में लोग 'बंधक चौक' पर इकट्ठा
तेल अवीव के 'बंधक चौक' पर सैकड़ों लोग सुबह से ही एकत्रित थे. जैसे ही खबर आई कि बंधक सुरक्षित हैं और उन्हें रेड क्रॉस द्वारा सौंपा जा चुका है, वहां मौजूद लोगों की आंखों में आंसू छलक आए. कुछ लोगों ने पीले रिबन वाले इजरायली झंडे हाथ में लिए थे, जो बंधकों के प्रति समर्थन का प्रतीक है. वहीं, कई लोग रिहा किए जा रहे बंधकों की तस्वीरों वाले पोस्टर लिए नजर आए.
हमास और इजरायल के बीच समझौते
हमास की तरफ से कहा गया है कि इस समझौते के तहत वह लगभग 20 जीवित इजरायली बंधकों को रिहा करेगा. बदले में इजरायल सरकार 1,900 से अधिक फिलिस्तीनी कैदियों को छोड़ने पर सहमत हुई है. इस समझौते को लेकर दोनों पक्षों की बयानबाजी भी सामने आई है.
हमास की सैन्य शाखा ने कहा कि यदि इजरायल ने पहले ही मानवीय कदम उठाए होते, तो वह अपने कई नागरिकों को सुरक्षित वापस पा सकता था.
रिहाई का अगला चरण दक्षिणी गाजा में
मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, सात बंधकों की रिहाई के बाद अगला चरण गाजा के दक्षिणी हिस्से में होगा. यह प्रक्रिया स्थानीय समयानुसार सुबह 10 बजे शुरू होगी. रेड क्रॉस, सुरक्षा एजेंसियों और स्वास्थ्य विभागों के अधिकारी पूरी प्रक्रिया पर नजर बनाए हुए हैं.
2023 से अब तक की संघर्ष पृष्ठभूमि
गाजा और इजरायल के बीच यह संघर्ष 7 अक्टूबर 2023 को शुरू हुआ था, जब हमास ने इजरायल पर बड़ा हमला किया. उस हमले में करीब 1,200 इजरायली नागरिकों की जान गई थी और 250 लोगों को बंधक बना लिया गया था. इसके बाद इजरायल ने गाजा में जवाबी सैन्य अभियान शुरू किया, जिसमें अब तक हजारों लोगों की जान जा चुकी है.
बीते दो वर्षों में कई अस्थायी समझौते हुए और कुछ बंधकों को रिहा किया गया, लेकिन अभी भी कुछ जिंदा बंधक और कई शव गाजा में हमास के कब्जे में हैं. अब युद्धविराम के साथ इन्हें वापस सौंपने की प्रक्रिया चल रही है.
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