PM संग्रहालय और पुस्तकालय के मेंबर ने राहुल गांधी को लिखा पत्र, जवाहरलाल नेहरू से जुड़े दस्तावेज वापस मांगे

    कादरी ने कहा कि उन्होंने सितंबर में सोनिया गांधी को एक पत्र लिखकर उनसे दस्तावेजों को वापस संस्थान को लौटाने का अनुरोध किया था लेकिन कोई जवाब नहीं मिला.

    PM संग्रहालय और पुस्तकालय के मेंबर ने राहुल गांधी को लिखा पत्र, जवाहरलाल नेहरू से जुड़े दस्तावेज वापस मांगे
    संग्रहालय एवं पुस्तकालय के मेंबर रजिवान कादरी मीडिया से बात करते हुए | Photo- ANI

    अहमदाबाद (गुजरात) : प्रधानमंत्री संग्रहालय एवं पुस्तकालय (पीएमएमएल) सोसाइटी के सदस्य रिजवान कादरी ने लोकसभा में विपक्ष के नेता राहुल गांधी को पत्र लिखकर उन दस्तावेजों को वापस करने का अनुरोध किया है, जिन्हें उन्होंने "इतिहास का महत्वपूर्ण पहलू" बताया है और कथित तौर पर कांग्रेस की वरिष्ठ नेता सोनिया गांधी के आदेश पर संग्रहालय से वापस ले लिया गया था.

    कादरी ने कहा कि उन्होंने सितंबर में सोनिया गांधी को एक पत्र लिखकर उनसे दस्तावेजों को वापस संस्थान को लौटाने का अनुरोध किया था, लेकिन कोई जवाब नहीं मिला.

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    कादरी ने कहा- सोनिया गांधी के आदेश पर लिया गया था वापस

    उन्होंने कहा, "सितंबर 2024 में, मैंने सोनिया गांधी को एक पत्र लिखकर अनुरोध किया था कि लगभग 8 अलग-अलग खंडों से 51 कार्टून, जो प्रधानमंत्री संग्रहालय (पूर्व में नेहरू स्मारक) में नेहरू से जुड़े कलेक्सन का हिस्सा थे, या तो संस्थान को लौटा दिए जाएं, या हमें उन्हें स्कैन करने की अनुमति दी जाए, या उनकी स्कैन की गई प्रतियां दी जाएं. इससे हमें उनका अध्ययन करने और विभिन्न विद्वानों द्वारा शोध करने में सुविधा होगी." 

    रिजवान कादरी ने कहा, "इनमें पंडित जवाहरलाल नेहरू और लेडी माउंटबेटन के बीच महत्वपूर्ण पत्राचार, साथ ही पंडित गोविंद बल्लभ पंत, जयप्रकाश नारायण और अन्य के साथ आदान-प्रदान किए गए पत्र शामिल हैं. ये पत्र भारतीय इतिहास का एक महत्वपूर्ण हिस्सा हैं और रिकॉर्ड के माध्यम से साबित हुआ है कि सोनिया गांधी के निर्देश पर 2008 में संग्रहालय से वापस ले लिए गए थे."

    रिजवान कादरी ने सोनिया गांधी से कोई प्रतिक्रिया न मिलने की बात कही

    उन्होंने यह भी जिक्र किया कि सोनिया गांधी से कोई प्रतिक्रिया न मिलने पर लोकसभा के नेता राहुल गांधी को एक और पत्र लिखा है.

    कादरी ने कहा, "चूंकि उनकी ओर से कोई जवाब नहीं मिला, इसलिए मैंने विपक्ष के नेता राहुल गांधी से इन सामग्रियों को वापस लाने में मदद करने का अनुरोध किया है. मैंने उनसे यह भी गुजारिश की है कि वे इस बात पर विचार करें कि ये दस्तावेज देश की विरासत का हिस्सा हैं और इसके इतिहास का एक महत्वपूर्ण पहलू हैं. जब तक हम इन सामग्रियों को नहीं देख लेते, हम उन्हें वापस लेने के कारणों का पता नहीं लगा सकते. उन्हें हटाए जाने के पीछे कुछ आपत्तिजनक सामग्री रही होगी."

    बीजेपी नेता संबित पात्रा ने भी जताया इस पर आश्चर्य

    भारतीय जनता पार्टी के सांसद संबित पात्रा ने भी इस पर प्रतिक्रिया दी और कहा कि यह "दिलचस्प" है.

    पात्रा ने एक्स पर कहा, "आज जो प्रधानमंत्री संग्रहालय और पुस्तकालय है और पहले नेहरू संग्रहालय और पुस्तकालय था, वहां से तत्कालीन यूपीए अध्यक्ष सोनिया गांधी ने नेहरू द्वारा "एडविना माउंटबेटन" सहित विभिन्न हस्तियों को लिखे गए पत्रों के 51 कार्टून ले लिए! पीएमएमएल की हाल ही में संपन्न एजीएम में सदस्यों में से एक रिजवान कादरी ने विपक्ष के नेता राहुल गांधी को पत्र लिखकर अपनी मां सोनिया गांधी से पत्र वापस लाने में मदद मांगी है!"

    भाजपा सांसद ने कहा, "मुझे इस बात से आश्चर्य हो रहा है कि नेहरू जी ने एडविना माउंटबेटन को क्या लिखा होगा जिसे सेंसर करने की जरूरत है और क्या एलओपी राहुल नेहरू और एडविना के बीच के पत्रों को वापस लाने में मदद करेंगे!"

    नई दिल्ली में तीन मूर्ति परिसर में नेहरू संग्रहालय स्मारक और पुस्तकालय पहले प्रधानमंत्री जवाहरलाल नेहरू का आधिकारिक निवास था और इसे केंद्रीय संस्कृति मंत्रालय के तहत एक स्वायत्त संस्थान के रूप में उनकी स्मृति में स्थापित किया गया था.

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