बीजिंग: पाकिस्तान के बलूचिस्तान प्रांत में हुए ट्रेन हाईजैक की घटना ने चीन को आक्रोशित कर दिया है. बलूच लिबरेशन आर्मी (BLA) द्वारा जाफर एक्सप्रेस पर किए गए हमले के बाद चीन की शी जिनपिंग सरकार ने आतंकवाद के खिलाफ पाकिस्तान को पूरा समर्थन देने का आश्वासन दिया है. इस हमले में 21 यात्रियों और अर्धसैनिक बलों के चार जवानों की जान चली गई, जबकि पाकिस्तान सेना ने जवाबी कार्रवाई में 33 विद्रोहियों को मार गिराने का दावा किया है.
चीन का पाकिस्तान को खुला समर्थन
चीन के विदेश मंत्रालय ने इस हमले की कड़ी निंदा करते हुए कहा कि बीजिंग आतंकवाद के खिलाफ पाकिस्तान सरकार के साथ खड़ा है. प्रवक्ता ने स्पष्ट किया कि चीन किसी भी प्रकार के आतंकवाद का विरोध करता है और आम नागरिकों की सुरक्षा के लिए पाकिस्तान का पूरा समर्थन करता रहेगा.
बीजिंग ने यह भी संकेत दिया है कि वह पाकिस्तान के साथ सुरक्षा सहयोग को और मजबूत करेगा. विशेषज्ञों का मानना है कि यह सहयोग पाकिस्तान में चीनी निवेश, विशेष रूप से चीन-पाकिस्तान इकनॉमिक कॉरिडोर (CPEC) की सुरक्षा को लेकर हो सकता है. चीन पहले ही पाकिस्तान पर दबाव बना रहा है कि वह अपने नागरिकों और निवेश की सुरक्षा के लिए चीनी सेना की तैनाती की अनुमति दे, लेकिन पाकिस्तान अभी इस पर सहमति देने के लिए तैयार नहीं दिख रहा.
बलूचिस्तान में संघर्ष बढ़ने की आशंका
इस हमले के बाद बलूचिस्तान में हिंसा और तेज हो सकती है. बलूच विद्रोही समूहों ने पाकिस्तान और चीन को चेतावनी दी है कि वे इस क्षेत्र से अपनी सेनाएं और परियोजनाएं हटा लें. विद्रोहियों का दावा है कि चीन और पाकिस्तान मिलकर बलूचिस्तान के संसाधनों का शोषण कर रहे हैं.
अमेरिका और अंतरराष्ट्रीय प्रतिक्रिया
अमेरिका ने भी इस हमले की निंदा की है, लेकिन उसकी प्रतिक्रिया चीन की तुलना में अधिक संतुलित रही है. अमेरिका ने बलूचिस्तान में हो रही हिंसा और मानवाधिकारों के उल्लंघन पर चिंता व्यक्त की है.
पाकिस्तानी सेना की जवाबी कार्रवाई
पाकिस्तान सेना ने दावा किया कि उसने इस हमले के बाद तुरंत जवाबी कार्रवाई की और सभी 33 आतंकवादियों को मार गिराया. पाकिस्तानी सेना के प्रवक्ता लेफ्टिनेंट जनरल अहमद शरीफ ने कहा कि सुरक्षाबलों ने यात्रियों को सुरक्षित निकालने के लिए एक संयुक्त अभियान चलाया, जिसमें सेना, वायुसेना, फ्रंटियर कोर और स्पेशल सर्विसेज ग्रुप (SSG) के कमांडो शामिल थे.
अधिकारियों के मुताबिक, विद्रोहियों ने पहले रेलवे ट्रैक पर विस्फोट किया, जिससे ट्रेन पटरी से उतर गई. इसके बाद उन्होंने यात्रियों को बंधक बना लिया. विद्रोही सैटेलाइट फोन के जरिए अफगानिस्तान में मौजूद अपने आकाओं के संपर्क में थे, जिससे उनके अंतरराष्ट्रीय गठजोड़ का भी संकेत मिलता है.
BLA की जिम्मेदारी और आगे की स्थिति
बलूच लिबरेशन आर्मी ने इस हमले की जिम्मेदारी ली और दावा किया कि उन्होंने पाकिस्तान के छह जवानों को मार गिराया. सुरक्षा विशेषज्ञों का मानना है कि इस हमले के बाद पाकिस्तान में चीनी प्रभाव और सैन्य हस्तक्षेप को लेकर और बहस छिड़ सकती है.
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