'वरना संविधान के साथ धोखाधड़ी...', दिल्ली HC में याचिका दायर कर CAG रिपोर्ट क्यों की पब्लिक करने की मांग?

    याचिका में आग्रह किया गया है कि रिपोर्ट को जनता के लिए सुलभ बनाया जाए, ताकि आगामी चुनावों में मतदान करने से पहले उन्हें दिल्ली की वित्तीय स्थिति के बारे में पूरी जानकारी मिल सके.

    'वरना संविधान के साथ धोखाधड़ी...', दिल्ली HC में याचिका दायर कर CAG रिपोर्ट क्यों की पब्लिक करने की मांग?
    सीएजी रिपोर्ट को लेकर बात करते हुए एडवोकेट सत्य रंजन स्वैन | Photo- एएनआई के वीडियो से ग्रैब्ड.

    नई दिल्ली : दिल्ली उच्च न्यायालय में एक याचिका दायर की गई है, जिसमें केंद्र सरकार, उपराज्यपाल और नियंत्रक एवं महालेखा परीक्षक (CAG) को अपने संवैधानिक और वैधानिक अधिकारों का इस्तेमाल करते हुए सीएजी रिपोर्ट को अपने-अपने पोर्टल पर प्रकाशित करने के निर्देश देने की मांग की गई है.

    याचिका में आग्रह किया गया है कि रिपोर्ट को जनता के लिए सुलभ बनाया जाए, ताकि आगामी चुनावों में मतदान करने से पहले उन्हें दिल्ली की वित्तीय स्थिति के बारे में पूरी जानकारी मिल सके.

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    रिपोर्ट पोर्टल पर की गई पब्लिक करने की मांग

    याचिकाकर्ता बृज मोहन, एक सेवानिवृत्त सिविल सेवक ने सीएजी रिपोर्ट को अपने पोर्टल पर सार्वजनिक करने के निर्देश मांगे, भले ही अध्यक्ष उन्हें पेश करने के लिए दिल्ली विधानसभा की बैठक बुलाने में विफल रहे हों.

    अदालत ने सीएजी से अपनी स्थिति साफ करने को कहा है कि रिपोर्ट को जनता के लिए सुलभ क्यों नहीं बनाई जा सकती है. याचिकाकर्ता भारतीय लेखा परीक्षा एवं लेखा विभाग (IA&AD) से 2013 में सेवानिवृत्त वरिष्ठ प्रशासनिक ग्रेड (SAG) अधिकारी हैं.

    हालांकि, न्यायालय ने CAG की राय मांगी है कि क्या विधानसभा में पेश किए बिना इसकी रिपोर्ट सार्वजनिक की जा सकती है. अब इस मामले की सुनवाई 24 जनवरी को होनी है.

    इसे रोकने को बताया संविधान के साथ धोखाधड़ी

    याचिका में तर्क दिया गया है कि भारत के संविधान के अनुच्छेद 19(1)(a) के तहत "जानने का मौलिक अधिकार" है, और दावा किया गया है कि CAG रिपोर्ट, जो दिल्ली के मतदाताओं के लिए महत्वपूर्ण हैं, को रोकना "संविधान के साथ धोखाधड़ी" है. यह आगे इस बात पर जोर देता है कि जनता को वोट डालने से पहले दिल्ली की वित्तीय स्थिति के बारे में सूचित किया जाना आवश्यक है.

    याचिका में कहा गया है कि दिल्ली विधानसभा में CAG रिपोर्ट पेश करने की विधायी प्रक्रिया के बावजूद, दिल्ली के मतदाताओं को आगामी विधानसभा चुनावों में अपना वोट डालने से पहले इन रिपोर्टों की सामग्री तक पहुंचने का अधिकार है.

    इसमें आगे तर्क दिया गया है कि CAG की संवैधानिक संस्था की प्रभावशीलता को इन रिपोर्टों को दबाने के प्रशासनिक या राजनीतिक प्रयासों से कम नहीं किया जाना चाहिए. याचिका में इस बात पर जोर दिया गया कि सीएजी रिपोर्ट को रोकना, विशेषकर जब उसमें दिल्ली के मतदाताओं के लिए महत्वपूर्ण जानकारी हो, "संविधान के साथ धोखाधड़ी" है.

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