अमेरिकी राजनीति में परंपराएं और रस्में अक्सर सत्ता परिवर्तन के बाद भी बरकरार रहती हैं, लेकिन राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने एक ऐसा कदम उठाया है जिसने इन परंपराओं को झकझोर कर रख दिया है. वाइट हाउस में दशकों से चली आ रही एक परंपरा के तहत हालिया पूर्व राष्ट्रपतियों के आधिकारिक चित्र प्रवेश द्वार के पास प्रमुख स्थान पर लगाए जाते रहे हैं, ताकि वहां आने वाले मेहमान और पर्यटक उन्हें देख सकें. लेकिन ट्रंप प्रशासन ने इस प्रोटोकॉल को बदलते हुए बराक ओबामा और जॉर्ज डब्ल्यू. बुश समेत कई पूर्व राष्ट्रपतियों के चित्र ऐसे हिस्से में स्थानांतरित कर दिए हैं, जहां बहुत कम लोगों की पहुंच होती है.
सीएनएन की रिपोर्ट के मुताबिक, बराक ओबामा का आधिकारिक चित्र, जो लंबे समय से वाइट हाउस के प्रवेश द्वार का एक प्रमुख आकर्षण था, अब ग्रैंड स्टेयरकेस के शीर्ष पर पहुंचा दिया गया है. यह क्षेत्र आम जनता के लिए सुलभ नहीं है और यहां केवल राष्ट्रपति का परिवार, सीमित संख्या में कर्मचारी और सीक्रेट सर्विस एजेंट ही आते-जाते हैं. यही हाल पूर्व राष्ट्रपति जॉर्ज डब्ल्यू. बुश और उनके पिता जॉर्ज एच. डब्ल्यू. बुश की तस्वीरों का भी हुआ है, जिन्हें अब उसी सीमित हिस्से में स्थानांतरित कर दिया गया है. नतीजतन, रोज़ाना वाइट हाउस आने-जाने वाले लोग इन चित्रों को अब आसानी से नहीं देख पाएंगे.
ट्रंप की व्यक्तिगत भागीदारी
सूत्र बताते हैं कि राष्ट्रपति ट्रंप वाइट हाउस की साज-सज्जा और रख-रखाव से जुड़े लगभग हर फैसले में निजी तौर पर दखल देते हैं. इससे पहले, ओबामा की तस्वीर को अप्रैल में ग्रैंड फोयर से हटाकर उसकी जगह एक पेंटिंग लगाई गई थी, जिसमें पेंसिलवेनिया के बटलर में ट्रंप पर हुए हमले और उनके सुरक्षित बच निकलने का चित्रण था. यह बदलाव दर्शाता है कि ट्रंप वाइट हाउस के दृश्यात्मक प्रतीकों को भी अपने राजनीतिक संदेश के अनुरूप ढाल रहे हैं.
परंपरा से हटकर कदम
वाइट हाउस में यह बदलाव केवल सजावट का मामला नहीं है, बल्कि यह सत्ता में बैठे व्यक्ति और उनके पूर्ववर्तियों के रिश्तों का भी प्रतीक बन गया है. ओबामा और बुश परिवार के साथ ट्रंप के लंबे समय से विवादास्पद संबंध रहे हैं, और तस्वीरों को प्रमुख स्थान से हटाना इस तनाव का प्रत्यक्ष संकेत माना जा रहा है. इस कदम ने न केवल वाइट हाउस की दशकों पुरानी परंपरा को तोड़ा है, बल्कि अमेरिकी राजनीति में शिष्टाचार और आपसी सम्मान के मायनों पर भी सवाल खड़े कर दिए हैं.
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