एक और युद्ध में फिर ट्रंप ने करवाया सीजफायर, लेकिन थाई नेता ने रखी ये शर्त

    लगातार चार दिन तक चले थाईलैंड-कंबोडिया संघर्ष ने शनिवार रात थमने की राह पकड़ी, जब दोनों देशों के बीच युद्धविराम की घोषणा हुई. इस विराम का श्रेय अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप की उस सीधी कॉल को दिया जा रहा है.

    Thailand and Cambodia trump is taking credit
    Image Source: ANI

    लगातार चार दिन तक चले थाईलैंड-कंबोडिया संघर्ष ने शनिवार रात थमने की राह पकड़ी, जब दोनों देशों के बीच युद्धविराम की घोषणा हुई. इस विराम का श्रेय अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप की उस सीधी कॉल को दिया जा रहा है, जिसमें उन्होंने तत्काल संघर्ष रोकने की अपील की थी.

    थाईलैंड के उप प्रधानमंत्री फुमथम वेचायाचाई ने जानकारी दी कि अमेरिका ने इस क्षेत्रीय तनाव को लेकर गंभीर चिंता जताई थी और दोनों देशों को संयम बरतने की सलाह दी थी. उन्होंने यह भी कहा कि थाईलैंड सैद्धांतिक रूप से युद्धविराम के पक्ष में है, लेकिन इसके लिए कंबोडिया को भी कुछ ठोस कदम उठाने होंगे.

    थाईलैंड की कड़ी शर्तें, अमेरिका से सहयोग की अपेक्षा

    उप प्रधानमंत्री वेचायाचाई ने स्पष्ट शब्दों में कहा कि युद्धविराम तभी कारगर होगा जब कंबोडिया विवादित सीमा क्षेत्र में अपनी सैन्य गतिविधियां पूरी तरह रोक दे. उन्होंने यह भी मांग की कि इस मुद्दे पर अब सीधी और पारदर्शी बातचीत होनी चाहिए. थाईलैंड ने अमेरिका से आग्रह किया है कि वह यह संदेश कंबोडियाई नेतृत्व तक पहुंचाए, ताकि इस संघर्ष को शांति से खत्म किया जा सके.

    चार दिनों की जंग और 1.35 लाख विस्थापित

    यह संघर्ष तब शुरू हुआ था जब थाई सेना ने कंबोडिया की सीमा में घुसकर फु मकुएआ पहाड़ी पर नियंत्रण हासिल कर लिया. इसके जवाब में दोनों देशों के बीच भारी फायरिंग हुई. इस टकराव में अब तक लगभग 1.35 लाख लोग बेघर हो चुके हैं और सीमाई इलाकों में दहशत का माहौल है. हालांकि, अब जब युद्धविराम लागू हो गया है, तो इससे क्षेत्र में अस्थायी राहत की उम्मीद जगी है. लेकिन असली परीक्षा तब होगी जब कंबोडिया थाईलैंड की शर्तों पर क्या रुख अपनाता है. अमेरिका का यह हस्तक्षेप दर्शाता है कि अंतरराष्ट्रीय कूटनीति अब भी क्षेत्रीय संघर्षों को रोकने की ताकत रखती है. आने वाले दिनों में यह देखना दिलचस्प होगा कि क्या यह सीजफायर स्थायी शांति की ओर बढ़ता है या फिर यह सिर्फ एक अस्थायी ठहराव साबित होगा. 

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