रूस ने मार गिराया यूक्रेन का फाइटर जेट, लेकिन दुनिया में हो रही अमेरिका की किरकिरी, जानें वजह

    America F-16 Fighter Jet: रूस और यूक्रेन के बीच जारी संघर्ष अब अपने चरम पर है. अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के शांति प्रयासों के बावजूद न तो युद्ध थमा और न ही टकराव की तीव्रता घटी.

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    America F-16 Fighter Jet: रूस और यूक्रेन के बीच जारी संघर्ष अब अपने चरम पर है. अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के शांति प्रयासों के बावजूद न तो युद्ध थमा और न ही टकराव की तीव्रता घटी. इस बीच एक ऐसा घटनाक्रम हुआ जिसने अमेरिका की वैश्विक सैन्य छवि पर सवाल खड़े कर दिए हैं.

    रूस का अब तक का सबसे बड़ा हवाई हमला

    शनिवार और रविवार की दरम्यानी रात रूस ने यूक्रेन पर जबरदस्त हवाई हमला किया, जो अब तक का सबसे बड़ा हमला बताया जा रहा है. इस ऑपरेशन में रूस ने यूक्रेन की सीमा में 500 से अधिक ड्रोन और मिसाइलें नष्ट कीं, साथ ही एक अमेरिकी F-16 फाइटर जेट को भी निशाना बनाकर गिरा दिया. ये वही लड़ाकू विमान है जिसे अमेरिका ने यूक्रेन को अपने रक्षा सहयोग के तहत सौंपा था.

    अमेरिका की रक्षा तकनीक पर उठे सवाल

    F-16 को अमेरिका ने हमेशा "अजेय" बताकर पेश किया है. लेकिन जब इस विमान को रूस ने मार गिराया, तो कई विशेषज्ञों ने सवाल उठाए कि आखिर इतने प्रचारित फाइटर जेट की इतनी जल्दी पराजय कैसे हो गई. इससे पहले भी अमेरिका ने भारत को बार-बार F-16 का नवीनतम संस्करण ऑफर किया था, लेकिन भारत ने इस प्रस्ताव में रुचि नहीं दिखाई.

    भारत पहले ही खोल चुका है F-16 की पोल

    यह पहली बार नहीं है जब अमेरिकी हथियारों की विश्वसनीयता पर सवाल खड़े हुए हों. 'ऑपरेशन सिंदूर' के दौरान भारत ने पाकिस्तान का एक F-16 मार गिराया था. तब भी अमेरिकी सैन्य तकनीक की खूब किरकिरी हुई थी.

    क्या अब घटेगा अमेरिका पर विश्वास?

    F-16 के गिरने की घटना न सिर्फ यूक्रेन के लिए झटका है, बल्कि अमेरिका की वैश्विक सैन्य रणनीति के लिए भी बड़ी चिंता है. अमेरिकी हथियारों की साख और बिक्री नीति पर असर पड़ना तय है, खासकर तब जब भारत जैसे देश पहले ही इन्हें लेकर सतर्क रुख अपना चुके हैं.

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