गाजा पट्टी को मलबों का ढेर बना देने के बावजूद इजरायल अब मान रहा है कि हमास को पूरी तरह खत्म करना आसान नहीं है. इजरायली सेना के सूत्रों ने माना है कि गाजा से हमास को पूरी तरह मिटाने में एक नहीं, बल्कि कई साल लग सकते हैं. यह जानकारी जेरूशलम पोस्ट की एक रिपोर्ट में दी गई है.
गाजा में बड़े पैमाने पर सैन्य अभियान
इजरायली सेना ने हाल ही में गाजा में बड़े पैमाने पर सैन्य अभियान चलाया था, जिसमें उन्होंने दावा किया कि करीब 300 हमास आतंकियों को मार गिराया गया. इससे पहले, 19 जनवरी को युद्धविराम की घोषणा से पहले इजरायल का दावा था कि 18 से 20 हजार हमास के लड़ाके मारे जा चुके हैं.
इसके बावजूद, इजरायल का कहना है कि हमास को पूरी तरह से खत्म करने में अभी भी लंबा समय लगेगा. इजरायली सेना के मुताबिक, हमास के पास अब भी 25 हजार या उससे ज्यादा लड़ाके हो सकते हैं. सेना का कहना है कि फिलहाल उनका फोकस ज्यादा से ज्यादा आतंकियों को खत्म करने पर है, लेकिन यह काम बहुत कठिन और समय लेने वाला है.
हमास की पकड़ अब भी गाजा के कई हिस्सों में
गाजा के राफा इलाके में इजरायली सेना ने बताया कि पहले वहां 4 से 8 हजार हमास लड़ाके थे, लेकिन अब कुछ सौ ही बचे हैं. इसके बावजूद खतरा अभी भी बना हुआ है.
IDF (इजरायली डिफेंस फोर्स) के अधिकारियों ने चेतावनी दी है कि अगर हमास के प्रमुख नेता आत्मसमर्पण नहीं करते या गाजा छोड़ने को तैयार नहीं होते, तो इजरायल को वहां बहुत लंबे समय तक फंसे रहना पड़ सकता है. इस संघर्ष का फोकस अब छोटे-छोटे आतंकवादी समूहों को ढूंढकर उन्हें खत्म करने पर है.
हालांकि, कुछ इजरायली अधिकारियों को उम्मीद है कि हमास जल्द ही कमजोर पड़ेगा और उसके नेता गाजा छोड़ सकते हैं. लेकिन अगर ऐसा नहीं हुआ, तो गाजा में धीमी लेकिन लंबी लड़ाई जारी रह सकती है, जिससे वहां दोबारा निर्माण और सामान्य जीवन शुरू करना मुश्किल हो जाएगा.
एक बड़ी समस्या यह भी है कि हमास के आतंकी आम नागरिकों के बीच छिपे होते हैं, जिससे उन्हें पहचानना और मारना बहुत चुनौतीपूर्ण हो जाता है. IDF ने हाल ही में राफा के शबौरा इलाके में भी बड़े ऑपरेशन किए हैं. यह वही इलाका है जिसे पहले ही सेना के कब्जे में माना जा रहा था. इससे पता चलता है कि हमास की पकड़ अब भी गाजा के कई हिस्सों में बनी हुई है.
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