भारत ने 2036 ओलिंपिक की मेजबानी के लिए दिया अहमदाबाद का नाम, सऊदी अरब, तुर्किये भी रेस में शामिल

    भारत ने 2036 ओलिंपिक खेलों की मेजबानी के लिए अहमदाबाद को प्रस्तावित शहर के रूप में इंटरनेशनल ओलिंपिक कमेटी (IOC) के समक्ष पेश किया है.

    India names Ahmedabad to host 2036 Olympics
    प्रतीकात्मक तस्वीर/Photo- ANI

    नई दिल्ली: भारत ने 2036 ओलिंपिक खेलों की मेजबानी के लिए अहमदाबाद को प्रस्तावित शहर के रूप में इंटरनेशनल ओलिंपिक कमेटी (IOC) के समक्ष पेश किया है. यह कदम ऐसे समय में उठाया गया है जब ओलिंपिक आयोजन की भविष्य की प्रक्रिया को लेकर IOC नए मापदंड और नीतियां तैयार करने की दिशा में काम कर रहा है.

    मंगलवार को स्विट्जरलैंड के लॉज़ान में हुई अहम बैठक में भारत की ओर से एक उच्च स्तरीय प्रतिनिधिमंडल ने भाग लिया, जिसमें केंद्रीय खेल मंत्रालय, गुजरात सरकार और भारतीय ओलिंपिक संघ (IOA) की अध्यक्ष पीटी ऊषा शामिल थीं.

    IOC की प्रक्रिया, लेकिन भारत की तैयारी पूरी

    यह बैठक उस समय हुई जब IOC की नई अध्यक्ष कर्स्टी कोवेन्ट्री ने ओलिंपिक मेजबान चुनने की प्रक्रिया पर फिलहाल रोक लगा दी है. यह निर्णय संगठन के भीतर पारदर्शिता और भागीदारी बढ़ाने की मांगों को ध्यान में रखते हुए लिया गया है. एक नया वर्किंग ग्रुप भविष्य की मेजबानी प्रक्रिया को लेकर सिफारिशें तैयार करेगा.

    हालांकि, भारत ने इस अस्थायी ठहराव के बावजूद अपने इरादे स्पष्ट कर दिए हैं — कि वह ओलिंपिक की मेजबानी के लिए न केवल इच्छुक है, बल्कि इसके लिए संरचनात्मक और रणनीतिक रूप से तैयार भी है.

    अहमदाबाद क्यों है भारत की पसंद?

    भारत ने पहली बार ओलिंपिक मेजबानी के लिए किसी शहर को औपचारिक रूप से नामित किया है.

    अहमदाबाद को इस वजह से चुना गया क्योंकि:

    • शहर में खेल अधोसंरचना के विस्तार की संभावनाएं व्यापक हैं,
    • यह पश्चिमी भारत का एक उभरता हुआ महानगर है जो स्मार्ट सिटी और मेगा इवेंट्स को सफलतापूर्वक होस्ट करने की क्षमता रखता है,
    • और केंद्र व राज्य सरकार दोनों के मजबूत समर्थन के साथ यह एक लॉजिस्टिकली उपयुक्त और राजनीतिक रूप से स्थिर विकल्प है.

    भारतीय ओलिंपिक संघ का मानना है कि भारत की युवा आबादी (60 करोड़ से अधिक) के लिए यह आयोजन एक प्रेरणास्रोत बन सकता है और देश में खेलों की संस्कृति को नई दिशा दे सकता है.

    सरकार और IOA की प्रतिक्रिया

    गुजरात के खेल मंत्री हर्ष संघवी ने इस दावेदारी पर कहा, "हम IOC के साथ इस साझा सपने को साकार करने के लिए प्रतिबद्ध हैं. हमारा उद्देश्य सिर्फ एक आयोजन कराना नहीं, बल्कि वैश्विक स्तर पर भारत की छवि को और मजबूत करना है."

    IOA अध्यक्ष पीटी ऊषा ने भी इस पर आशावाद जताते हुए कहा, "भारत में ओलिंपिक सिर्फ एक खेल आयोजन नहीं होगा, यह एक पीढ़ियों तक याद रखा जाने वाला सांस्कृतिक और राष्ट्रीय क्षण होगा."

    दावेदारी की पृष्ठभूमि और प्रतिस्पर्धा

    भारत ने अक्टूबर 2023 में IOC को एक लेटर ऑफ इंटेंट भेजकर औपचारिक रूप से 2036 ओलिंपिक की मेजबानी में रुचि दिखाई थी. इस दौड़ में भारत अकेला देश नहीं है — सऊदी अरब, इंडोनेशिया, तुर्किए और चिली भी मेजबानी की दावेदारी कर चुके हैं.

    IOC के नियमों के मुताबिक, अंतिम मेजबान चयन प्रक्रिया में अभी समय है, लेकिन भारत की ओर से की गई यह पहल संकेत देती है कि वह इस बार इस मंच को लेकर पूरी गंभीरता और दीर्घकालिक रणनीति के साथ आगे बढ़ रहा है.

    भारत का मेगा स्पोर्ट्स इवेंट्स में अनुभव

    भारत अब तक तीन बड़े अंतरराष्ट्रीय मल्टी-स्पोर्ट्स इवेंट्स की मेजबानी कर चुका है:

    • 1951 और 1982 एशियन गेम्स (नई दिल्ली)
    • 2010 कॉमनवेल्थ गेम्स (नई दिल्ली)

    इन आयोजनों से मिले अनुभव, बुनियादी ढांचे और व्यवस्थागत सुधारों ने भारत को इस बार ओलिंपिक जैसे आयोजन के लिए बेहतर दावेदार बना दिया है.

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