IS मॉड्यूल को दिल्ली में कैसे चला रहा था पाकिस्तान, क्या था प्लान? पुलिस ने किए चौंकाने वाले खुलासे

    दिल्ली में हाल ही में पकड़े गए ISIS मॉड्यूल को लेकर भारतीय सुरक्षा एजेंसियों ने कई अहम खुलासे किए हैं. जांच से सामने आया है कि इन मॉड्यूल के संचालन में पाकिस्तान और उसकी खुफिया एजेंसी ISI की भूमिका संदेह के घेरे में है.

    How was Pakistan running IS module in Delhi
    Image Source: Social Media

    दिल्ली में हाल ही में पकड़े गए ISIS मॉड्यूल को लेकर भारतीय सुरक्षा एजेंसियों ने कई अहम खुलासे किए हैं. जांच से सामने आया है कि इन मॉड्यूल के संचालन में पाकिस्तान और उसकी खुफिया एजेंसी ISI की भूमिका संदेह के घेरे में है. अधिकारियों के अनुसार, ISI इस्लामिक स्टेट खुरासान प्रांत (ISKP) के जरिए भारत में आतंक फैलाने की कोशिश कर रहा है. दिल्ली और भोपाल से गिरफ्तार किए गए आरोपी इसी नेटवर्क से जुड़े पाए गए हैं. सुरक्षा एजेंसियां इन मामलों की गहराई से जांच कर रही हैं.

    तालिबान और अंतरराष्ट्रीय खुफिया रिपोर्टों के अनुसार, पाकिस्तान की खुफिया एजेंसी ISI अब ISKP को समर्थन प्रदान कर रही है. इस कनेक्शन का उद्देश्य दक्षिण एशिया में आतंकवादी गतिविधियों को बढ़ावा देना बताया गया है. दिल्ली और भोपाल में पकड़े गए ISIS मॉड्यूल के तार भी इसी नेटवर्क से जुड़ने की संभावना है.

    सोशल मीडिया के जरिए कट्टरपंथ फैलाना

    सूत्रों के मुताबिक, गिरफ्तार आरोपियों में से दो प्रमुख सदस्य अदनान हैं, जो सोशल मीडिया के प्लेटफॉर्म्स जैसे इंस्टाग्राम और यूट्यूब पर सक्रिय थे. ये लोग ‘सात उल उम्माह’ और ‘वॉयस ऑफ इंडिया’ जैसे ग्रुप्स से जुड़े थे, जिनमें लगभग एक हजार सीरियाई सदस्य शामिल थे. इनके जरिए भारत में युवाओं को कट्टरपंथ की ओर आकर्षित किया जाता था.

    अदनान का काम था कट्टरपंथी वीडियो का चयन, एडिटिंग और उन्हें सोशल मीडिया पर साझा करना. भोपाल के अदनान ने वीडियो सामग्री का चयन किया, जबकि दिल्ली का अदनान इसे एडिट और पोस्ट करता था. वीडियो में भड़काऊ संगीत, वॉयस ओवर और कैप्शन जोड़े जाते थे. इस सामग्री के माध्यम से समान विचारधारा वाले युवकों की पहचान कर उनके नेटवर्क में शामिल किया जाता था.

    धमकियां और उकसाने वाली पोस्ट

    जांच में यह भी सामने आया कि आरोपी अदनान ने वाराणसी में ज्ञानवापी मस्जिद के सर्वे करने वाले जज को धमकी दी थी. इंस्टाग्राम पर उन्होंने जज की तस्वीर के ऊपर ‘काफिर’ लिखकर उन्हें मारने की बात लिखी. इस मामले में लखनऊ के गेमती नगर थाने में मुकदमा दर्ज किया गया और यूपी पुलिस ने UAPA के तहत कार्रवाई की.

    भोपाल से अदनान को 4 जून 2024 को गिरफ्तार किया गया. यूपी पुलिस ने 10 दिन की रिमांड पर उसे पूछताछ के लिए लिया. पूछताछ में आरोपी ने बताया कि जमानत मिलने के बाद भी वह चरमपंथी गतिविधियों को जारी रखता रहा और युवाओं को कट्टरपंथ की ओर आकर्षित करने में सक्रिय रहा.

    दिल्ली और भोपाल के अदनान का प्रोफाइल

    दिल्ली का अदनान: मूल रूप से यूपी के एटा जिले का रहने वाला. मध्यमवर्गीय परिवार से ताल्लुक रखता है. पिता सलीम खान दूरदर्शन में ड्राइवर का काम करते हैं, मां अंजुम खान गृहिणी हैं. तीन बहनें हैं. 10वीं तक की पढ़ाई एटा में की और 2020 में परिवार दिल्ली आया. दिल्ली में उसने डेटा इन्फॉर्मेशन टेक्नॉलजी में डिप्लोमा पूरा किया.

    अदनान ने 2023 में इंस्टाग्राम पर कट्टरपंथी पेजों को फॉलो करना शुरू किया और ‘सात उल उम्माह’ जैसे ग्रुप्स में शामिल हुआ. वह सीरिया स्थित ISIS हैंडलर अबू इब्राहिम अल-कुरैशी के संपर्क में रहा और ISIS खलीफा के प्रति निष्ठा की शपथ ली.

    भोपाल का अदनान: मध्य प्रदेश के भोपाल के कारोद का रहने वाला. मध्यमवर्गीय परिवार से, पिता सलाम विभिन्न प्राइवेट फर्मों में अकाउंटेंट, मां पार्ट-टाइम एक्ट्रेस. 12वीं तक पढ़ाई भोपाल में की. 6 से 10 साल की उम्र तक मदरसे में पढ़ाई की. बाद में उसका झुकाव कट्टरपंथ की ओर बढ़ा.

    ये भी पढ़ें- 'लाइन मैंने क्रॉस की और गुस्सा ब्रॉड पर निकाला...' युवराज सिंह के 6 छक्कों पर फ्लिंटॉफ का कबूलनामा