MP के किसानों को मिला दिवाली का उपहार, CM मोहन ने ट्रांसफर किए ₹265 करोड़ रुपये, महिलाओं को भी दी सौगात

    दिवाली के ठीक पहले प्रदेश की जनता को मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने खुशियों की सौगात दी. उज्जैन जिले के तराना में आयोजित एक भव्य समारोह में उन्होंने किसानों और बहनों के लिए बड़ी घोषणाएं कीं, जिससे प्रदेशभर में उत्साह का माहौल बन गया.

    CM Mohan Yadav transfers crores to farmers during Ujjain visit as Diwali gift
    Image Source: Social Media

    दिवाली के ठीक पहले प्रदेश की जनता को मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने खुशियों की सौगात दी. उज्जैन जिले के तराना में आयोजित एक भव्य समारोह में उन्होंने किसानों और बहनों के लिए बड़ी घोषणाएं कीं, जिससे प्रदेशभर में उत्साह का माहौल बन गया. मुख्यमंत्री ने उन किसानों को बड़ी राहत दी है जो हाल की अतिवृष्टि से प्रभावित हुए थे. उन्होंने एक क्लिक में 265 करोड़ रुपये की राहत राशि सीधे किसानों के खातों में ट्रांसफर की. यह कदम किसानों को फिर से अपने पैरों पर खड़े होने में मदद करेगा और उनकी आर्थिक स्थिति को मजबूत बनाएगा.

    मुख्यमंत्री ने "लाड़ली बहना योजना" के अंतर्गत 29 लाख बहनों के खातों में गैस सिलेंडर रीफिल के लिए 45 करोड़ रुपये ट्रांसफर किए. यह राशि दिवाली जैसे त्योहार पर बहनों को रसोई गैस की चिंता से मुक्त करेगी और उनके चेहरों पर मुस्कान लाएगी. इस अवसर पर मुख्यमंत्री ने कुल 30 विकास परियोजनाओं का शिलान्यास और लोकार्पण किया, जिनकी कुल लागत 31 करोड़ रुपये है. इनमें सड़क, जलप्रदाय, शैक्षणिक संस्थान और अन्य आधारभूत संरचनाएं शामिल हैं, जो क्षेत्र के सर्वांगीण विकास को गति देंगी.

    "ये किसानों के लिए हमारी प्रतिबद्धता"

    सीएम यादव ने कहा कितराना से आगर तक एक नई सड़क बनेगी, कायथा में नया कॉलेज बनेगा, मक्सी में टू लेन रोड फॉर लेन होगी. इसके अलावा जो किसान प्राकृतिक फसल उगाएगा, प्राकृतिक खेती करेगा, उसका विशेष पंजीयन होगा. सरकार उसे विशेष अनुदान देगी. तराना और आसपास के युवाओं को रोजगार देने के लिए 8 हजार करोड़ का नया कारखाना स्थापित किया जा रहा है. इससे हजारों लोगों को रोजगार मिलेगा. उन्होंने कहा कि शिवपुरी-गुना-अशोकनगर में किसानों ने फसल बोई, लेकिन बाढ़ की वजह से वह उगी नहीं. सरकार ने कहा कोई बात नहीं. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में यह सरकार इतनी सक्षम है कि जैसे ही बाढ़ का पानी उतरा, वैसे ही किसानों को राहत राशि प्रदान कर दी. यह प्रदेश के इतिहास में पहली बार हुआ. ये किसानों के लिए हमारी प्रतिबद्धता है.

    "खराब हुई फसलों के लिए भी किसानों को राहत राशि"

    उन्होंने कहा कि हमारा किसान सूखा-पाला-बाढ़-आंधी-तूफान में खेत में मेहनत करके लोगों की जरूरत पूरा करता है. कभी-कभी परमात्मा परीक्षा भी लेते हैं. कभी बारिश ज्यादा हो जाती है, कभी पीला मोजेक हो जाता है, कभी किसी और वजह से फसल खराब हो जाती है. लेकिन, इसमें घबराने की कोई बात नहीं. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में हमारी सरकार ने पहली बार पीला मोजेक से खराब हुई फसलों के लिए भी किसानों को राहत राशि दी है. हमारी सरकार सभी की मदद करने के लिए तैयार है.

    मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने कहा कि 1947 के बाद से कांग्रेस ने लगातार सरकार चलाई. लेकिन, किसान सम्मान निधि भाजपा सरकार ने दी. 6 हजार तो प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी दे रहे हैं, 6 हजार राज्य सरकार दे रही है. कांग्रेसी बताएं कि कब उन्होंने किसान सम्मान निधि दी है. कांग्रेस ने किसानों को फूटी कौड़ी नहीं दी. ये हमारी सरकार और प्रधानमंत्री मोदी का नेतृत्व है जो किसानों के लिए लगातार मेहनत कर रहे हैं.

    उन्होंने कहा कि लाड़ली बहनों को भी कांग्रेस ने एक रुपया नहीं दिया. हमारी सरकार ने 1 हजार रुपये योजना शुरू की. उस वक्त भी कांग्रेसी प्रलाप ही करते थे कि बीजेपी कहां से लाएगी, ये पैसे चुनाव तक ही मिलेंगे. आज योजना को दो साल हो रहे हैं. चुनाव के वक्त एक हजार रुपये से योजना शुरू की थी, 2024 में ढाई सौ रुपये दिए और बहनों को 1250 रुपये दिए. उन्होंने कहा कि रक्षाबंधन पर बहनों को 1250 अलग और 250 अलग दिए. अबकी बार भाईदूज के बाद से बहनों को 1500 रुपये देना शुरू करेंगे.

    "कांग्रेस के शासनकाल में खेत सूखे पड़े थे"

    मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि अब तराना में भी पार्वती-काली सिंध-चंबल का पानी मिलेगा. आगर-मालवा का भी समय बदला है. कांग्रेस के शासनकाल में खेत सूखे पड़े थे, बिजली के तार-खंभे थे, लेकिन करंट नहीं था. साल 2002 तक बंटाधार की सरकार में हालात खराब थे. 1956 में मध्यप्रदेश बना. उस वक्त किसानों को डीजल भरवाने लाइन में लगना पड़ता था. उन्हें जनरेटर में डीजल डालकर पानी की व्यवस्था करनी होती थी, लेकिन आज प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व की वजह से आज हमारे पास बिजली की कोई कमी नहीं है. अब तो हम किसानों के लिए नई योजना लेकर आए हैं.

    मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि मेरी किसानों से अपील है कि वे फसलों को उगाने के साथ-साथ दूध उत्पादन और पशुपालन से भी जुड़ें. आप 25 लाख वाला 40 लाख का प्रस्ताव लाएंगे, तो उसमें दस लाख सरकार देगी. गाय भी आपकी, दूध भी आपका होगा. गाय के गोबर से खाद का इतंजाम कर किसान जैविक खेती करे. जो किसान प्राकृतिक फसल उगाएगा, प्राकृतिक खेती करेगा, उसका विशेष पंजीयन होगा. सरकार उसे विशेष अनुदान देगी.

    ये भी पढ़ें: सीएम मोहन यादव का किसानों को बड़ा तोहफा, अब सोलर पंप के लिए 90% सब्सिडी देगी एमपी सरकार