न्यूयॉर्क/वाशिंगटन: अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने एक चौंकाने वाला दावा किया है. उन्होंने कहा है कि अफगानिस्तान का बगराम एयरबेस अब चीन के कब्जे में है. ट्रंप के मुताबिक, यह वही एयरबेस है जिसे अमेरिका ने जुलाई 2021 में खाली कर दिया था, जब जो बाइडन अमेरिका के राष्ट्रपति थे.
बगराम एयरबेस की अहमियत क्या है?
ट्रंप ने कहा कि बगराम एयरबेस अफगानिस्तान का सबसे बड़ा और सबसे महत्वपूर्ण एयरबेस है. इसका रनवे दुनिया के सबसे लंबे और ताकतवर रनवे में गिना जाता है. यह एयरबेस चीन की उस जगह से सिर्फ एक घंटे की दूरी पर है, जहां वह परमाणु मिसाइलें बनाता है.
व्हाइट हाउस में दिया बयान
ट्रंप ने यह बात अमेरिका के व्हाइट हाउस में राष्ट्रीय प्रार्थना दिवस के मौके पर कही. उन्होंने बताया, "मैंने उस वक्त की सरकार से कहा था कि बगराम एयरबेस को न छोड़ा जाए, क्योंकि यह रणनीतिक रूप से बहुत जरूरी है. लेकिन फिर भी अमेरिका ने इसे खाली कर दिया और अब चीन ने इस पर कब्जा कर लिया है, जो बहुत ही दुखद है."
अमेरिका की वापसी को बताया गलती
ट्रंप ने अफगानिस्तान से अमेरिकी सैनिकों की वापसी को "विनाशकारी फैसला" बताया. उन्होंने कहा कि बगराम एयरबेस को छोड़ना अमेरिका की बड़ी गलती थी.
बगराम एयरबेस की लोकेशन और क्षमता
बगराम एयरबेस अफगानिस्तान के परवान प्रांत में है. यह काबुल से करीब 47 किलोमीटर उत्तर में और चारीकार शहर से 11 किलोमीटर दूर है. यहां का रनवे इतना बड़ा है कि बड़े बमवर्षक और मालवाहक विमान भी आसानी से उड़ान भर सकते हैं. ट्रंप का दावा बताता है कि बगराम एयरबेस की रणनीतिक और सैन्य दृष्टि से बहुत बड़ी अहमियत है. अगर वाकई चीन ने इस पर कब्जा कर लिया है, तो यह अमेरिका और दुनिया की सुरक्षा के लिए चिंता की बात हो सकती है.
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