सड़क हादसे में घायलों का तुरंत होगा फ्री इलाज, जानें कैसे मिलेगा 'कैशलेस ट्रीटमेंट स्कीम' का फायदा

    सरकार ने एक अधिसूचना जारी कर "कैशलेस इलाज योजना" को लागू करने का ऐलान किया है, जो पूरे देश में प्रभावी होगी.

    Road accident victims will get immediate free treatment
    नितिन गडकरी/Photo- ANI

    नई दिल्ली: देश में सड़क हादसों में घायल होने वाले नागरिकों के लिए केंद्र सरकार ने एक नई योजना की शुरुआत की है, जिसके तहत पीड़ितों को अब इलाज के लिए अस्पताल में आर्थिक चिंता से गुजरना नहीं पड़ेगा. सरकार ने एक अधिसूचना जारी कर "कैशलेस इलाज योजना" को लागू करने का ऐलान किया है, जो पूरे देश में प्रभावी होगी.

    'गोल्डन ऑवर' में जीवनरक्षा

    सड़क परिवहन और राजमार्ग मंत्रालय द्वारा जारी इस योजना का उद्देश्य दुर्घटना के बाद पहले एक घंटे के भीतर—जिसे 'गोल्डन ऑवर' कहा जाता है—उपचार को सुलभ बनाना है. इस समय पर इलाज न मिलने से देश में हर साल हजारों लोगों की जान चली जाती है.

    अब यदि कोई व्यक्ति मोटर वाहन दुर्घटना में घायल होता है, तो उसे 1.5 लाख रुपए तक का कैशलेस इलाज मिलेगा, चाहे दुर्घटना किसी भी राज्य, सड़क या स्थिति में क्यों न हुई हो.

    कैसे काम करेगी योजना

    • इलाज की प्रक्रिया पूरी तरह कैशलेस होगी; मरीज या परिजनों को प्राथमिक इलाज के दौरान कोई भुगतान नहीं करना होगा.
    • इलाज की लागत का भुगतान राष्ट्रीय स्वास्थ्य प्राधिकरण (NHA) द्वारा किया जाएगा.
    • जरूरत पड़ने पर मरीज को उच्च चिकित्सा केंद्र में रेफर किया जाएगा, और इस रेफरल की जिम्मेदारी अस्पताल की होगी.
    • यदि इलाज की कुल लागत 1.5 लाख रुपये से अधिक होती है, तो अतिरिक्त खर्च मरीज या उसके परिजन को वहन करना होगा.

    वित्तीय भार केंद्र सरकार उठाएगी

    यह योजना विशेष रूप से उन नागरिकों के लिए राहत लेकर आई है जो आर्थिक रूप से कमजोर हैं या हादसे के बाद समय पर इलाज के अभाव में जान गंवा बैठते हैं.

    सड़क हादसे के बाद इलाज की औसत लागत 50,000 से 2 लाख रुपए तक होती है, जबकि गंभीर मामलों में यह 5 से 10 लाख रुपए तक पहुंच सकती है. इस योजना से अनुमानित हर वर्ष 10,000 करोड़ रुपये का वित्तीय भार केंद्र सरकार उठाएगी.

    हो सकती है सीमा में बढ़ोतरी

    सूत्रों के अनुसार, सरकार उपचार सीमा को 1.5 लाख से बढ़ाकर 2 लाख रुपये करने पर भी विचार कर रही है, ताकि गंभीर घायलों को और बेहतर सहायता मिल सके.

    क्यों आई यह योजना

    जनवरी 2024 में केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी ने सड़क सुरक्षा को लेकर चिंता जताई थी और कहा था कि केंद्र सरकार सड़क दुर्घटना पीड़ितों के लिए व्यापक कैशलेस इलाज योजना पर काम कर रही है. अब यह योजना राष्ट्रीय स्वास्थ्य प्राधिकरण (NHA), राज्य सरकारों, पुलिस प्रशासन और अस्पतालों के समन्वय से कार्यान्वित की जाएगी.

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