जाग गया तानाशाह! अमेरिका के खिलाफ किम जोंग उन ने लिए दो बड़े फैसले; छटपटा रहे ट्रंप! क्या शुरू होगा नया युद्ध?

    उत्तर कोरिया के तानाशाह किम जोंग उन ने पिछले 24 घंटे में दो ऐसे फैसले लिए हैं, जिनसे अमेरिका की चिंता बढ़ सकती है. यह बदलाव डोनाल्ड ट्रंप के दूसरी बार राष्ट्रपति बनने के बाद अमेरिका और उत्तर कोरिया के रिश्तों में एक नई कड़ी के रूप में सामने आया है.

    Kim jong un two big decision against america in just 24 hours
    Image Source: Social Media

    उत्तर कोरिया के तानाशाह किम जोंग उन ने पिछले 24 घंटे में दो ऐसे फैसले लिए हैं, जिनसे अमेरिका की चिंता बढ़ सकती है. यह बदलाव डोनाल्ड ट्रंप के दूसरी बार राष्ट्रपति बनने के बाद अमेरिका और उत्तर कोरिया के रिश्तों में एक नई कड़ी के रूप में सामने आया है. किम जोंग उन, जो पहले से ही अमेरिका के प्रमुख विरोधी माने जाते हैं, अब और भी मुखर हो गए हैं, और उन्होंने अपनी सैन्य तैयारियों और कूटनीतिक निर्णयों से अमेरिका को सख्त संदेश दिया है.

    रविवार को विजयी दिवस के मौके पर किम जोंग उन ने एक महत्वपूर्ण बयान दिया, जिसमें उन्होंने कहा कि पहले भी उत्तर कोरिया ने अमेरिकी सैनिकों को हराया था और भविष्य में यदि युद्ध की स्थिति आती है, तो वे अमेरिका से पूरी ताकत के साथ मुकाबला करेंगे. किम जोंग ने यह भी कहा कि उनका सैन्य संचालन उस प्रकार का होगा जो अमेरिका और उसके सम्राज्यवाद के खिलाफ मजबूती से लड़े. उन्होंने अपने सैनिकों को भी प्रेरित करते हुए कहा कि उनका देश और उसका लोग एक शक्तिशाली सेना और समृद्ध राष्ट्र बनाने के अपने लक्ष्य को प्राप्त करेंगे.

    दक्षिण कोरिया से बातचीत को ठुकराना, अमेरिका को झटका

    दूसरी ओर, किम जोंग उन की बहन, किम यो जोंग ने दक्षिण कोरिया के उस प्रस्ताव को ठुकरा दिया है, जिसमें उसने उत्तर कोरिया के साथ बातचीत करने की इच्छा जताई थी. दक्षिण कोरिया के नए राष्ट्रपति ने अमेरिका के कहने पर उत्तर कोरिया से कूटनीतिक संवाद स्थापित करने की कोशिश की थी, लेकिन किम यो जोंग ने इसे पूरी तरह नकार दिया. इस फैसले से अमेरिका को तगड़ा झटका लगा है, क्योंकि यह दक्षिण कोरिया और अमेरिका दोनों की रणनीति को कमजोर करता है.

    उत्तर कोरिया का सैन्य खतरा और बढ़ी हुई ताकत

    उत्तर कोरिया को दुनिया के सबसे खतरनाक देशों में से एक माना जाता है, और इसके पास बड़े पैमाने पर परमाणु हथियारों और मिसाइलों का जखीरा है. नागासाकी परमाणु संस्थान के मुताबिक, उत्तर कोरिया के पास लगभग 50 परमाणु हथियार हैं, हालांकि यह आंकड़ा आधिकारिक रूप से स्वीकार नहीं किया गया है. उत्तर कोरिया के पास ह्वासोंग-18 मिसाइल जैसी अत्याधुनिक मिसाइलें हैं, जिनकी मारक क्षमता 15,000 किलोमीटर तक है, जिससे वह सीधे अमेरिका पर हमला कर सकता है. इसके अलावा, उत्तर कोरिया हर साल औसतन 80 से 90 मिसाइलों का परीक्षण करता है, जिससे उसकी सैन्य ताकत लगातार बढ़ रही है.

    आधुनिक सैन्य उपकरणों से लैस उत्तर कोरिया

    उत्तर कोरिया के पास न केवल मिसाइलें और परमाणु हथियार हैं, बल्कि वह अन्य सैन्य उपकरणों से भी लैस है, जैसे कि एमजी टैंक, जो उसने कोरिया युद्ध में इस्तेमाल किए थे. इसके अलावा, उत्तर कोरिया के पास ड्रोन और आर्टिलरी मशीनें भी हैं, जो उसकी सैन्य क्षमता को और भी बढ़ाती हैं. यह साफ है कि उत्तर कोरिया अब अपनी ताकत से अमेरिका और उसके सहयोगियों को चेतावनी देने के लिए तैयार है.

    क्यों महत्वपूर्ण है उत्तर कोरिया का सैन्य शक्ति बढ़ाना?

    उत्तर कोरिया की बढ़ती सैन्य शक्ति और परमाणु हथियारों की क्षमता न केवल अमेरिका के लिए चिंता का विषय है, बल्कि दक्षिण कोरिया और जापान जैसे देशों के लिए भी खतरनाक हो सकती है. उत्तर कोरिया की ताकत के सामने अमेरिका को अपनी रणनीतियों पर पुनर्विचार करना पड़ सकता है, क्योंकि वह अब सीधे तौर पर अपने क्षेत्रीय विरोधियों को चुनौती देने की स्थिति में आ चुका है.

    यह भी पढ़ें: जंग अभी खत्म नहीं हुई! कंबोडिया-थाईलैंड के बीच सीजफायर के बाद ताइवान में तनाव; चीन ने भेजे 17 फाइटर जेट और 7 जहाज