बहराइचल में फिर लौटा भेड़िए का आतंक, 12 साल के बच्चे को किया लहूलुहान, गांव में फैली दहशत

    Bahraich Wolf Attack: बहराइच जिले का महसी क्षेत्र इन दिनों एक अनदेखे खतरे से जूझ रहा है. खमरिया हरदो पट्टी गांव में जंगली भेड़िये का आतंक लगातार बढ़ता जा रहा है, जिसने न केवल मवेशियों को निशाना बनाया, बल्कि अब इंसानों पर भी हमले शुरू कर दिए हैं. बीती रात गांव में उस समय हड़कंप मच गया जब एक 12 वर्षीय बालक अमन पर भेड़िये ने हमला कर दिया.

    Wolf Attack 12 years old Child in Bahraich
    प्रतीकात्मक तस्वीर | Photo: Freepik

    Bahraich Wolf Attack: बहराइच जिले का महसी क्षेत्र इन दिनों एक अनदेखे खतरे से जूझ रहा है. खमरिया हरदो पट्टी गांव में जंगली भेड़िये का आतंक लगातार बढ़ता जा रहा है, जिसने न केवल मवेशियों को निशाना बनाया, बल्कि अब इंसानों पर भी हमले शुरू कर दिए हैं. बीती रात गांव में उस समय हड़कंप मच गया जब एक 12 वर्षीय बालक अमन पर भेड़िये ने हमला कर दिया. बच्चा गंभीर रूप से घायल हो गया और उसे तत्काल नजदीकी अस्पताल में भर्ती कराया गया, जहां उसकी हालत नाजुक बनी हुई है.

    एक और मासूम बना शिकार

    गांव वालों के अनुसार अमन गांव के बाहर अन्य बच्चों के साथ खेल रहा था, तभी झाड़ियों से अचानक निकले भेड़िये ने उस पर झपट्टा मारा. बालक की चीखें सुनकर ग्रामीण मौके पर पहुंचे और शोर मचाकर भेड़िये को वहां से भगाया. ग्रामीणों ने घायल अमन को तुरंत अस्पताल पहुंचाया. यह पहली बार नहीं है जब इस गांव में ऐसी घटना हुई हो—कुछ दिन पहले ही एक और मासूम, मात्र दो साल का बच्चा, भेड़िये का शिकार बन चुका है, जिसकी जान नहीं बच सकी थी.

    दहशत में जी रहे हैं ग्रामीण

    इस हमले के बाद गांव में भय और दहशत का माहौल है. ग्रामीण अपने बच्चों को घर से बाहर निकलने नहीं दे रहे हैं और दिन-रात सतर्कता बरत रहे हैं. लोगों का कहना है कि पिछले कुछ दिनों में मवेशियों पर भी हमले हुए हैं, जिससे अंदाजा लगाया जा सकता है कि जंगली जानवर अब लगातार इंसानी बस्तियों की ओर बढ़ रहे हैं.

    वन विभाग के प्रयास नाकाफी

    ग्रामीणों का गुस्सा अब वन विभाग की ओर मुड़ गया है. उनका कहना है कि कई बार शिकायत किए जाने के बावजूद भेड़िये को पकड़ने में अब तक कोई सफलता नहीं मिली है. भेड़िये की मौजूदगी की पुष्टि के बावजूद विभाग की कार्रवाई में तेजी नहीं दिखाई दे रही, जिससे लोगों का धैर्य जवाब देने लगा है.

    वन विभाग की ओर से दी गई जानकारी के अनुसार भेड़िये को पकड़ने के लिए गांव के आसपास पिंजरे लगाए गए हैं और गश्त भी बढ़ा दी गई है. हालांकि, अब तक कोई सफलता हाथ नहीं लगी है. अधिकारी लगातार ग्रामीणों से सतर्क रहने और बच्चों को अकेले बाहर न भेजने की अपील कर रहे हैं.

    नेपाल सीमा से सटे इलाके में जंगली खतरा

    गौरतलब है कि बहराइच जिला नेपाल की सीमा से लगा हुआ है और इस क्षेत्र में घने जंगल फैले हुए हैं. गर्मियों के मौसम में पानी और भोजन की तलाश में जंगली जानवर जंगल से निकलकर मानव बस्तियों की ओर रुख कर लेते हैं. यही वजह है कि ऐसे हमले इन दिनों बढ़ते जा रहे हैं.

    ग्रामीणों की अपील: जल्द हो समाधान

    ग्रामीणों की मांग है कि वन विभाग और प्रशासन मिलकर इस समस्या का तुरंत हल निकालें. भेड़िये को जल्द से जल्द पकड़ा जाए ताकि गांव के लोग चैन की सांस ले सकें. प्रशासन ने भी वन विभाग को निर्देश दिए हैं कि इस मामले में तेजी से कार्रवाई की जाए.

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