तेल अवीव/नई दिल्ली: इज़राइल के तेल अवीव स्थित बेन गुरियन इंटरनेशनल एयरपोर्ट के पास यमन के ईरान समर्थित हूती विद्रोहियों द्वारा मिसाइल हमला किए जाने के चलते एयर इंडिया की दिल्ली से तेल अवीव जा रही फ्लाइट AI139 को अबू धाबी में आपात रूप से उतारना पड़ा. विमान में करीब 300 यात्री सवार थे.
फ्लाइट उस समय जॉर्डन के हवाई क्षेत्र में थी, जब एयरपोर्ट के पास मिसाइल गिरने की खबर आई. एयर इंडिया ने इस घटनाक्रम की पुष्टि करते हुए कहा कि यात्रियों की सुरक्षा को प्राथमिकता दी गई और फ्लाइट ने अबू धाबी में सुरक्षित लैंडिंग की.
6 मई तक उड़ानों पर रोक
एयर इंडिया ने अपनी वेबसाइट और यात्रियों को भेजे गए नोटिस में जानकारी दी है कि 3 से 6 मई 2025 तक की सभी उड़ानें रद्द की गई हैं. यात्रियों को टिकट मुफ्त में रीबुक करने या पूरा रिफंड लेने की सुविधा दी जाएगी.
इजराइल डिफेंस सिस्टम विफल
इजराइली सेना ने बताया कि मिसाइल हमले में एयरपोर्ट परिसर की एक सड़क और एक वाहन को क्षति पहुंची है. 8 लोग घायल हुए हैं, जिनमें से एक की हालत गंभीर है.
सेना ने यह भी स्वीकार किया है कि मिसाइल को इंटरसेप्ट करने में रक्षा प्रणाली विफल रही. हमले की जांच की जा रही है.
हूती विद्रोहियों ने ली हमले की जिम्मेदारी
यमन के हूती प्रवक्ता याह्या सारी ने एक बयान में कहा कि यह हमला गाजा में इज़राइली सैन्य कार्रवाई और लंबे समय से चली आ रही नाकेबंदी के जवाब में किया गया. उनका दावा है कि इस हमले में ‘फिलिस्तीन-2 हाइपरसोनिक बैलिस्टिक मिसाइल’ का इस्तेमाल किया गया, जिसने इज़राइल की डिफेंस प्रणाली को पार कर लिया.
हालांकि इज़राइली सेना ने हाइपरसोनिक मिसाइल के दावे को अविश्वसनीय बताते हुए खारिज किया है.
इजराइली पीएम ने बुलाई आपात बैठक
हमले के बाद प्रधानमंत्री बेंजामिन नेतन्याहू ने वरिष्ठ सैन्य अधिकारियों के साथ आपातकालीन बैठक बुलाई है.
रक्षा मंत्री योआव गैलांट ने चेतावनी दी है कि "जो इज़राइल को नुकसान पहुंचाने की कोशिश करेगा, उसे सात गुना जवाब मिलेगा." उन्होंने स्पष्ट संकेत दिया कि हूती विद्रोहियों के खिलाफ कड़ी सैन्य कार्रवाई की योजना पर विचार किया जा रहा है.
कौन हैं हूती विद्रोही?
हूती आंदोलन यमन में 2014 से शुरू हुए गृहयुद्ध का हिस्सा है, जिसमें शिया समुदाय के विद्रोही समूहों ने सुन्नी सरकार के खिलाफ विद्रोह किया था.
इस संघर्ष में ईरान और सऊदी अरब जैसी क्षेत्रीय शक्तियों की प्रत्यक्ष/अप्रत्यक्ष भागीदारी ने इसे और जटिल बना दिया है.
ईरान द्वारा समर्थन मिलने के बाद हूती विद्रोही तकनीकी रूप से सक्षम और सैन्य रूप से सुसज्जित हो चुके हैं. उनके पास अब न केवल ड्रोन और बैलिस्टिक मिसाइल हैं, बल्कि हालिया रिपोर्टों के अनुसार वे हेलिकॉप्टर और अन्य आधुनिक सैन्य उपकरणों का भी उपयोग कर रहे हैं.
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