इंजन फेल या फ्यूल कंट्रोल के साथ हुआ कुछ खेल? अहमदाबाद हादसे में घूमी जांच की सुई, पढ़ें नई रिपोर्ट

    अहमदाबाद से उड़ान भरने के बाद एयर इंडिया के बोइंग 787 ड्रीमलाइनर विमान का क्रैश होना एक रहस्यमयी घटना बन गया है. 12 जून को टेकऑफ के कुछ ही समय बाद, यह विमान आग का गोला बनकर गिर गया, और अब तक यह पता नहीं चल सका है.

    Ahmedabad Plane Crash Fuel engine missuse read new report
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    अहमदाबाद से उड़ान भरने के बाद एयर इंडिया के बोइंग 787 ड्रीमलाइनर विमान का क्रैश होना एक रहस्यमयी घटना बन गया है. 12 जून को टेकऑफ के कुछ ही समय बाद, यह विमान आग का गोला बनकर गिर गया, और अब तक यह पता नहीं चल सका है कि इसके पीछे की असल वजह क्या थी. इस हादसे में 242 यात्रियों में से 241 की मौत हो गई, और जमीन पर भी कई लोग घायल हुए. विमान के क्रैश के कारणों की जांच अब भी जारी है, और इस बीच एक नया अपडेट सामने आया है.

    फ्यूल कंट्रोल स्विच पर केंद्रित जांच

    11 जुलाई को प्रारंभिक जांच रिपोर्ट जारी किए जाने की संभावना जताई जा रही है, जिसमें ध्यान केंद्रित किया जा रहा है कि कहीं एयर इंडिया फ्लाइट 171 के बोइंग 787 के फ्यूल कंट्रोल स्विच का गलत इस्तेमाल तो नहीं किया गया. यह सवाल इस बात पर उठ रहा है कि उड़ान के दौरान फ्यूल स्विच को गलती से मूव (हिलाया) तो नहीं गया था, जिससे इंजन की फ्यूल सप्लाई रुक गई और विमान दुर्घटनाग्रस्त हो गया.

    फ्यूल कंट्रोल स्विच की भूमिका

    बोइंग 787 के फ्यूल कंट्रोल स्विच दो पोजीशन में होते हैं: रन और कटऑफ. यह स्विच मुख्य रूप से इंजन को स्टार्ट करने और शटडाउन करने के दौरान इस्तेमाल किए जाते हैं, लेकिन विशेष परिस्थितियों में, जैसे कि इंजन में खराबी आने पर पायलट इन्हें मैन्युअल रूप से मूव कर सकते हैं. यदि उड़ान के दौरान इन स्विच को गलत तरीके से रन से कटऑफ मोड में हिलाया गया, तो इंजन को फ्यूल सप्लाई मिलना बंद हो सकता है, जिससे इंजन की शक्ति घट सकती है और विमान का नियंत्रण खो सकता है.

    इंजन में आग और फ्यूल स्विच

    रिपोर्ट में कहा गया है कि यदि इंजन में आग लगने की स्थिति होती है, तो फ्यूल कंट्रोल स्विच लाल रंग में जलने लगते हैं, जिससे पायलट को तुरंत एक दृश्य संकेत मिलता है. हालांकि, ब्लैक बॉक्स से प्राप्त जानकारी के अनुसार यह स्पष्ट नहीं हो पाया कि फ्लाइट के क्रैश होने से पहले इंजन की पावर में कमी आई थी या नहीं. यह भी नहीं पता चल पाया कि क्या यह कमी किसी गलती, अनजाने या जानबूझकर की गई कार्रवाई का परिणाम था.

    विशेषज्ञों की राय

    अमेरिकी एविएशन सेफ्टी एक्सपर्ट जॉन कॉक्स ने इस मामले पर अपनी राय व्यक्त की. उन्होंने कहा कि पायलट फ्यूल स्विच को गलती से भी मूव नहीं कर सकते हैं. स्विच की स्थिति को बदलने के लिए उन्हें इसे निश्चित रूप से ऊपर उठाना पड़ता है. यदि स्विच को बंद किया गया, तो इसका प्रभाव तुरंत दिखेगा और इंजन की शक्ति घट जाएगी.

    क्या है वर्तमान स्थिति?

    रॉयटर्स ने सूत्रों के हवाले से बताया कि जांच के दौरान किसी प्रकार की यांत्रिक विफलता पर कोई चिंता नहीं उठाई गई है. इसके अलावा, 787 ऑपरेशंस में बदलाव की कोई सिफारिश करने वाला बुलेटिन भी अभी तक जारी नहीं किया गया है.

    क्रैश का घटनाक्रम

    हादसे के दिन, अहमदाबाद से लंदन के लिए उड़ान भरने वाला यह विमान टेकऑफ के कुछ ही क्षण बाद 650 फीट की ऊंचाई पर पहुंचते ही अचानक दुर्घटनाग्रस्त हो गया. विमान के दुर्घटनाग्रस्त होने के बाद उसके आसपास के इलाकों में भी कई लोग घायल हुए. इस हादसे की जांच भारतीय विमान दुर्घटना जांच ब्यूरो (AAIB) द्वारा अंतरराष्ट्रीय मानकों के तहत की जा रही है.

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