Sanchaar Saathi App: मोबाइल चोरी और साइबर धोखाधड़ी से परेशान भारतीयों के लिए अब एक मजबूत डिजिटल हथियार तैयार है—संचार साथी ऐप. दूरसंचार विभाग (DoT) द्वारा विकसित यह ऐप देशभर में मोबाइल सुरक्षा को नए स्तर पर ले गया है. मार्च 2023 में शुरू हुए इस प्लेटफॉर्म ने बेहद कम समय में लाखों लोगों का भरोसा जीतते हुए खोए या चोरी हुए करीब 7 लाख मोबाइल फोन्स रिकवर कर उन्हें उनके मालिकों तक पहुंचा दिया है. यह उपलब्धि बताती है कि टेक्नोलॉजी सही दिशा में जाए तो अपराध पर कैसे प्रभावी रोक लग सकती है.
संचार साथी ऐप/पोर्टल पूरी तरह डिजिटल सुरक्षा पर आधारित सरकारी पहल है. कोई भी यूज़र इस ऐप में अपने चोरी या खोए हुए फोन की शिकायत दर्ज कर सकता है. शिकायत दर्ज होते ही मोबाइल का IMEI नंबर सिस्टम में रिकॉर्ड हो जाता है. अगर चोर फोन को किसी नई सिम या नए नंबर के साथ इस्तेमाल करने की कोशिश करता है, तो सिस्टम तुरंत अलर्ट जारी कर देता है. इस अलर्ट के बाद फोन ब्लैकलिस्ट हो जाता है, यानी वह नेटवर्क पर काम नहीं करेगा. इससे फोन का दुरुपयोग रुक जाता है और रिकवरी की संभावनाएं भी बढ़ जाती हैं. सिर्फ इतना ही नहीं, यह ऐप सेकंड हैंड मोबाइल खरीदने वालों के लिए भी बेहद उपयोगी है. ऐप में IMEI डालते ही पता चल जाता है कि फोन चोरी का, ब्लैकलिस्टेड या संदिग्ध तो नहीं है.
दो साल में 7 लाख से ज्यादा मोबाइल रिकवर
DoT ने यह ऐप मई 2023 में देशभर में लॉन्च किया था. तब से अब तक इसकी मदद से रिकॉर्ड संख्या में मोबाइल फोन ट्रैक और बरामद किए गए हैं.सिर्फ अक्टूबर 2025 में ही 50,000 मोबाइल फोन्स वापस मिले. वहीं, 2023 से 2025 तक कुल 7 लाख फोन रिकवर किए जा चुके हैं.तेलंगाना और कर्नाटक इस रिकवरी अभियान में सबसे आगे रहे हैं—जहां 1–1 लाख से अधिक फोन्स को मालिकों तक पहुंचाया गया है. इसके अलावा ऐप ने साइबर अपराध पर भी करारी चोट की है. संचार साथी की मदद से अब तक 12.38 लाख संदिग्ध WhatsApp अकाउंट्स बंद किए जा चुके हैं.
संचार साथी ऐप के अन्य बड़े फायदे
संदिग्ध कॉल्स और ठगी की रिपोर्टिंग. ऐप में मौजूद Chakshu SFC सुविधा के जरिए लोग किसी भी संदिग्ध, फ्रॉड या स्पैम कॉल को रिपोर्ट कर सकते हैं. इससे ठगी करने वाले नंबर आसानी से ट्रैक हो जाते हैं.
अपने नाम पर सभी मोबाइल कनेक्शन देखें
यूज़र अपने नाम पर जारी सभी मोबाइल नंबरों की जानकारी ऐप में देख सकते हैं. अगर कोई अनजान नंबर जुड़ा है, तो उसे बंद या रिपोर्ट कर सकते हैं. नए–पुराने मोबाइल की वैधता चेक. सेकंड हैंड फोन खरीदने से पहले IMEI वैधता जांचकर यह पता लगाया जा सकता है कि फोन चोरी का तो नहीं है. चोरी/खोए फोन को ब्लॉक–ट्रेस–रिकवर. यही ऐप मोबाइल को तुरंत ब्लॉक करने, ट्रेस करने और बाद में रिकवर करने का तेज और आसान समाधान देता है.
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