Vijay Kumar Sinha On Land Reforms: बिहार के उपमुख्यमंत्री और राजस्व एवं भूमि सुधार मंत्री विजय कुमार सिन्हा ने बुधवार को भूमि माफियाओं के खिलाफ सख्त कार्रवाई करने का ऐलान किया. उन्होंने साफ किया कि भूमि माफियाओं को संरक्षण देने वाले सफेदपोश और विभागीय अधिकारी भी इस कार्रवाई के दायरे में आएंगे. पटना में आयोजित प्रेस वार्ता में उन्होंने यह भी कहा कि अब यह बीमारी जड़ से खत्म करनी होगी, और किसी भी प्रकार की अनियमितता को बर्दाश्त नहीं किया जाएगा.
विजय कुमार सिन्हा ने कहा, “जानकारी के अनुसार कुछ अधिकारी और कर्मचारी भी भूमि माफियाओं के मामलों में संलिप्त पाए गए हैं. ऐसे लोग विभाग के संसाधनों का गलत इस्तेमाल कर रहे हैं. अब विभाग की निगरानी कड़ी होगी. अधिकारियों के कार्यालय उनके व्यक्तिगत लाभ के लिए नहीं चलेंगे. हर पंचायत में समय पर बैठकें आयोजित होंगी और यह सुनिश्चित किया जाएगा कि कर्मचारी कार्यालय में मौजूद हों या नहीं. कर्मचारियों का कार्यालय उनके झोले में नहीं होगा.”
भूमि माफियाओं और अधिकारियों पर होगी नजर
उपमुख्यमंत्री ने यह भी स्पष्ट किया कि अब कोई बहाना स्वीकार नहीं किया जाएगा. विभागीय पारदर्शिता बढ़ाने के लिए हर संभव कदम उठाया जा रहा है. मार्च 2026 तक लंबित सभी मामलों को निपटाने के लिए विशेष टीमें और तंत्र तैयार किए जा रहे हैं. अब अधिकारी और पदाधिकारी अपने कर्तव्यों का पालन समय सीमा में करेंगे, और किसी भी प्रकार की लापरवाही बर्दाश्त नहीं होगी.
दाखिल-खारिज और परिमार्जन होगी प्राथमिकता
विजय कुमार सिन्हा ने अधिकारियों को निर्देश दिया कि दाखिल-खारिज और परिमार्जन विभाग की प्राथमिकता होगी. उन्होंने कहा कि सभी जिलों में साप्ताहिक समीक्षा होगी और समयबद्ध ढंग से कार्य पूरा करना अनिवार्य होगा. “बिना कारण किसी आवेदन को रिजेक्ट करने की मानसिकता अब खत्म होनी चाहिए. यदि कोई अधिकारी आवेदन खारिज करता है, तो उसे ठोस कारण देना होगा और इसकी जांच भी की जाएगी,” उन्होंने कहा.
सिन्हा ने अधिकारियों को स्पष्ट किया कि विभागीय कामकाज में निष्पक्षता और पारदर्शिता सर्वोपरि होगी. उन्होंने यह भी कहा कि अब किसी भी अधिकारी को जनता की शिकायतों और आवेदन के मामले में टाल-मटोल करने की इजाजत नहीं होगी.
‘भूमि सुधार संवाद’ से आम जनता को मिलेगा सीधे समाधान
उपमुख्यमंत्री ने सरकार द्वारा शुरू किए जा रहे कार्यक्रम ‘भूमि सुधार संवाद’ की भी जानकारी दी. उन्होंने बताया कि इस संवाद की शुरुआत 12 दिसंबर को पटना से होगी, जबकि 15 दिसंबर को लखीसराय में यह आयोजन होगा. यह कार्यक्रम सुबह 10 बजे से दोपहर 12 बजे तक चलेगा.
इसमें कोई भी व्यक्ति अपने जमीन-संबंधी दस्तावेज लेकर आ सकता है और तत्काल समाधान प्राप्त कर सकता है. विजय कुमार सिन्हा ने कहा कि इसका मकसद सीधे तौर पर जनता की शिकायतों का समाधान करना और भूमि सुधार विभाग में पारदर्शिता सुनिश्चित करना है.
सख्त कार्रवाई का संदेश
विजय कुमार सिन्हा के इस कदम से स्पष्ट हो गया है कि बिहार सरकार भूमि माफियाओं और उनके संरक्षणकर्ताओं के खिलाफ गंभीर है. यह नीति न केवल भ्रष्ट अधिकारियों को चेतावनी देगी, बल्कि आम जनता को यह भरोसा भी देगी कि उनके अधिकार सुरक्षित हैं. आगामी दिनों में ‘भूमि सुधार संवाद’ और अन्य निगरानी तंत्र के जरिए जनता सीधे अपनी शिकायतें प्रस्तुत कर सकेगी, और लंबित मामलों का निपटारा जल्द से जल्द किया जाएगा.
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