तुर्की में इस्तांबुल के मेयर एकरेम इमामोग्लू की गिरफ्तारी के बाद से देश भर में बड़े पैमाने पर विरोध प्रदर्शन हो रहे हैं. इन प्रदर्शनों में पुलिस और प्रदर्शनकारियों के बीच झड़पें भी हो रही हैं, जिनके कई वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो चुके हैं.
एंटाल्या में पिकाचू का दिलचस्प वीडियो
इस बीच, एंटाल्या शहर से एक दिलचस्प वीडियो सामने आया है, जिसमें एक प्रदर्शनकारी पिकाचू की ड्रेस पहनकर पुलिस से बचते हुए सड़क पर दौड़ता हुआ नजर आता है. पिकाचू के रूप में यह प्रदर्शनकारी एर्दोगन विरोधी आंदोलन में शामिल हुआ था. जब पुलिस ने प्रदर्शनकारियों को तितर-बितर करने के लिए पानी की बौछार की, तो यह प्रदर्शनकारी गिरफ्तारी से बचने के लिए पिकाचू की ड्रेस में भागते हुए दिखाई दिया. उसके साथ अन्य प्रदर्शनकारी भी पुलिस से बचने के लिए भागते हुए दिखे. पिकाचू पोकेमोन की सबसे पॉपुलर कैरेक्टर्स में से एक है. पोकेमोन फ्रैंचाइज़ी का यह प्रमुख किरदार जापानी पॉप कल्चर का आइकॉन भी बन चुका है और इसने दुनियाभर में अपनी एक अलग पहचान बनाई है.
the pokemon have risen up against erdoganpic.twitter.com/O6hyPvrfi9
— ian bremmer (@ianbremmer) March 27, 2025
तुर्की के प्रमुख दल की प्रतिक्रिया
वायरल वीडियो पर तुर्की की प्रमुख सियासी पार्टी, रिपब्लिकन पीपुल्स पार्टी (CHP) ने भी प्रतिक्रिया दी है. सीएचपी ने ट्विटर पर कहा कि "पिकाचू पर भी पेपर स्प्रे का असर होता है." उल्लेखनीय है कि एकरेम इमामोग्लू इसी पार्टी के सदस्य हैं. इमामोग्लू और उनके सलाहकारों की गिरफ्तारी के खिलाफ तुर्की में विरोध प्रदर्शन हो रहे हैं, जो दुनियाभर में सुर्खियों में हैं. हालांकि, तुर्की सरकार ने विदेशी बयानों को पूर्वाग्रह से ग्रसित बताते हुए उन्हें खारिज कर दिया है.
दो हजार से ज्यादा गिरफ्तारियां
इमामोग्लू की गिरफ्तारी के बाद से अब तक करीब दो हजार लोगों को गिरफ्तार किया गया है. अधिकारियों के मुताबिक, भ्रष्टाचार की जांच के तहत इमामोग्लू की गिरफ्तारी की गई थी. यह कदम राष्ट्रपति एर्दोगन के मुख्य प्रतिद्वंद्वी इमामोग्लू को चुप कराने की कोशिश के रूप में देखा जा रहा है.
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इमामोग्लू की राजनीति में बढ़ती अहमियत
इमामोग्लू ने 2019 में इस्तांबुल के नगरपालिका चुनाव में एर्दोगन की पार्टी को बड़ा झटका दिया था. उनकी पार्टी ने इस्तांबुल पर कब्ज़ा किया था, जो पिछले 25 साल से एर्दोगन की पार्टी का गढ़ था. चुनाव में गड़बड़ी का आरोप लगाते हुए एर्दोगन की सरकार ने फिर से चुनाव कराने की मांग की, लेकिन नतीजा वही रहा. इमामोग्लू पर भ्रष्टाचार के आरोप और एक आतंकवादी संगठन का समर्थन करने का आरोप भी लगाया गया है. सीएचपी ने उन्हें 2028 के राष्ट्रपति चुनाव के लिए पार्टी का आधिकारिक उम्मीदवार घोषित किया है.