चंडीगढ़ (हरियाणा) : भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के वरिष्ठ नेता अनिल विज ने रविवार को हरियाणा विधानसभा चुनाव से पहले मुख्यमंत्री पद के लिए दावा पेश किया है. न्यूज एजेंसी एएनआई से बात करते हुए, अनिल विज ने अपनी वरिष्ठता की बात की और पार्टी से सीएम पद की मांग की.
#WATCH | BJP candidate from Ambala Cantt Assembly constituency Anil Vij says, "I am the senior most MLA of BJP in Haryana. I have contested elections for 6 times. On the demand of people, I will claim for the designation of CM on the basis of my seniority this time. However, it… pic.twitter.com/jdwQt9nKSS
— ANI (@ANI) September 15, 2024
अनिल विज ने कहा, "मैं हरियाणा में भाजपा का सबसे वरिष्ठ विधायक हूं. मैंने छह बार चुनाव लड़ा है. मैंने कभी पार्टी से कुछ नहीं मांगा. हालांकि, लोगों की मांग पर, मैं इस बार अपनी वरिष्ठता के आधार पर सीएम पद के लिए दावा करूंगा."
हालांकि, विज ने कहा कि यह निर्णय 'हाईकमान' के हाथ में है.
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कहा- मुझे सीएम बनाए तो हरियाणा की तस्वीर बदल दूंगा
उन्होंने कहा, "यह हाईकमान के हाथ में है कि वे मुझे सीएम बनाते हैं या नहीं. अगर वे मुझे सीएम बनाते हैं तो मैं हरियाणा की तस्वीर बदल दूंगा."
अनिल विज अंबाला कैंट विधानसभा क्षेत्र से भाजपा उम्मीदवार हैं. मनोहर लाल खट्टर की सरकार के दौरान वे हरियाणा के गृहमंत्री थे और हाल ही में हुए फेरबदल में उन्हें मंत्रिमंडल से हटा दिया गया था, जिसमें नायब सिंह सैनी ने मुख्यमंत्री पद की शपथ ली थी. इससे पहले विज ने मंत्रिमंडल से बाहर किए जाने पर अपनी नाराजगी जाहिर करते हुए कहा था कि कुछ लोगों ने उन्हें अपनी पार्टी में 'अजनबी' बना दिया है.
2 मई को विज ने कहा, "माना कुछ लोगों ने मुझे मेरी पार्टी में ही बेगाना बना दिया है, लेकिन कई बार अजनबी लोग अपने लोगों से भी ज्यादा काम कर जाते हैं."
नए मंत्रिमंडल के शपथ ग्रहण समारोह में शामिल नहीं हुए थे
विज नए मंत्रिमंडल के शपथ ग्रहण समारोह में शामिल नहीं हुए थे और विधायक दल की बैठक को बीच में ही छोड़कर चले गए थे, जिससे उनका असंतोष साफ झलक रहा था.
नायब सिंह सैनी ने इस साल मार्च में मनोहर लाल खट्टर की जगह हरियाणा के मुख्यमंत्री पद की शपथ ली थी. जब 2014 में पहली बार 90 सदस्यीय हरियाणा विधानसभा में भाजपा ने बहुमत हासिल किया था, तो विज को मुख्यमंत्री पद के लिए सबसे आगे देखा जा रहा था. लेकिन, पार्टी ने पहली बार विधायक बने खट्टर को इस पद के लिए चुना.
2019 के चुनावों में भी खट्टर ने फिर से विज को दौड़ में पछाड़ दिया, बाद में गृह और स्वास्थ्य जैसे प्रमुख विभाग आवंटित किए गए.
हरियाणा में 90 सदस्यीय विधानसभा के लिए मतदान 5 अक्टूबर को होगा और नामांकन दाखिल करने की आखिरी तारीख 12 सितंबर है. मतों की गिनती 8 अक्टूबर को होगी. 2019 के विधानसभा चुनावों में, भाजपा 40 सीटों के साथ सबसे बड़ी पार्टी बनी और कांग्रेस ने 30 सीटें जीती थी.
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