Israel and Iran War: मध्य पूर्व एक बार फिर युद्ध की दहलीज पर खड़ा है. ईरान और इजरायल के बीच दिनों से जारी तनातनी अब प्रत्यक्ष युद्ध में तब्दील हो चुकी है. दोनों देशों के बीच छठे दिन भी भीषण संघर्ष जारी है. एक ओर जहां ईरान ने इजरायल पर मिसाइल हमले किए, वहीं जवाब में इजरायली सेना ने 12 से ज्यादा ठिकानों को निशाना बनाया है.
“जंग शुरू होती है”
बुधवार को ईरान के सर्वोच्च नेता अयातुल्ला अली खामेनेई ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म X पर एक सख्त बयान देते हुए लिखा, "जंग शुरू होती है. आतंकी यहूदी शासन को हम मुंहतोड़ जवाब देंगे और उन पर कोई रहम नहीं करेंगे." इस पोस्ट के कुछ ही समय बाद ईरान ने इजरायल की ओर लगातार 25 मिसाइलें दागीं. खामेनेई का यह रुख इस ओर स्पष्ट संकेत करता है कि ईरान अब पूरी तरह से इस टकराव में शामिल हो चुका है और पीछे हटने के मूड में नहीं है. उन्होंने पहले ही यह साफ कर दिया था कि वे जायोनिस्ट शासन (Zionist regime) से कभी समझौता नहीं करेंगे.
इजरायल की कड़ी प्रतिक्रिया, सद्दाम हुसैन का जिक्र
ईरान के इस आक्रामक रवैये के जवाब में इजरायल के रक्षा मंत्री इजरायल कैट्ज ने भी बेहद सख्त लहजे में चेतावनी दी है. उन्होंने खामेनेई को सीधे तौर पर इराक के पूर्व तानाशाह सद्दाम हुसैन की याद दिलाते हुए कहा "खामेनेई को यह नहीं भूलना चाहिए कि इजरायल से टकराने वाले तानाशाहों का क्या अंजाम हुआ है." यह बयान केवल चेतावनी नहीं, बल्कि एक गंभीर संकेत माना जा रहा है कि इजरायल किसी भी आक्रामकता का जवाब देने के लिए पूरी तरह तैयार है चाहे इसके लिए कितना भी बड़ा सैन्य कदम क्यों न उठाना पड़े.
क्षेत्रीय तनाव चरम पर
इस ताजा टकराव के बाद पूरे मध्य पूर्व में तनाव चरम पर पहुंच गया है. अमेरिका, रूस, चीन और यूरोपीय संघ जैसे वैश्विक ताकतों की निगाहें अब इस बढ़ते संघर्ष पर टिकी हैं. जानकारों का मानना है कि यदि यह युद्ध और गहराया, तो इसका असर केवल इन दो देशों तक सीमित नहीं रहेगा, बल्कि पूरे विश्व की भू-राजनीतिक स्थिरता प्रभावित हो सकती है.
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