केंद्रिय मंत्री डॉ मनसुख मांडविया ने रामकृपाल यादव को बताया, बिहार में खाद की कोई दिक्कत केंद्र सरकार नहीं कर रही है।

    केंद्रिय मंत्री डॉ मनसुख मांडविया ने रामकृपाल यादव को बताया, बिहार में खाद की कोई दिक्कत केंद्र सरकार नहीं कर रही है।

    केंद्रिय मंत्री डॉ मनसुख मांडविया ने रामकृपाल यादव को बताया, बिहार में खाद की कोई दिक्कत केंद्र सरकार नहीं कर रही है।

    केंद्रिय मंत्री डॉ मनसुख मांडविया ने रामकृपाल यादव को बताया, बिहार में खाद की कोई दिक्कत केंद्र सरकार नहीं कर रही है। नई दिल्ली: आज दिल्ली में केन्द्रीय रसायन और उर्वरक मंत्री डॉ मनसुख मांडविया से मिलकर कर सांसद रामकृपाल यादव ने बिहार में किसानों को यूरिया को लेकर हो रही दिक्कत से अवगत कराया। पाटलिपुत्र से लोकसभा सांसद और पूर्व केन्द्रीय राज्य मंत्री राम कृपाल यादव ने कहा कि बिहार सरकार की नाकामियों के वजह से किसानों को यूरिया खाद नहीं मिल रहा है। सरकार के पास प्रयाप्त खाद होने के बाबजूद सरकार के नाक के नीचे कालाबाजारी हो रही है। केन्द्रीय मंत्री ने सांसद को बताया कि बिहार में खाद की कोई कमी नहीं है। कृषि एवं किसान कल्याण विभाग भारत सरकार सभी राज्यों के मांग के आधार पर माहवार और राज्यवार प्रक्षेपण के आधार पर उर्वरक विभाग सभी राज्यों को प्रयाप्त मात्रा में उर्वरक आवंटित करता है। उसी आलोक में बिहार में माह दिसंबर के लिए 3 लाख 30 हजार मीट्रिक टन यूरिया की मांग थी। जिसके आलोक में आज की तिथि तक 3 लाख 52 हजार मीट्रिक टन यूरिया बिहार में उपलब्ध था। बिहार सरकार ने केंद्र को बताया है की 22 दिसंबर तक 2 लाख 86 हजार मीट्रिक टन यूरिया का वितरण हो गया है और 86 हजार टन यूरिया स्टॉक में है। जबकि दिसंबर माह में यूरिया खाद की कुल मांग 3 लाख 30 हजार मीट्रिक टन के अनुपात में 22 दिसंबर तक की मांग 2 लाख 34 हजार मीट्रिक टन ही है। वहीं माह दिसंबर में पटना जिला के लिए बिहार सरकार ने केंद्र से 12 हजार 6 सौ 52 मिट्रिक टन यूरिया की मांग की थी। जिसके आलोक में 14 हजार 9 सौ 15 मिट्रिक टन यूरिया पटना जिला को उपलब्ध कराया गया है। जिसमे से 10 हजार 4 सौ 84 मिट्रिक टन का वितरण किया गया है और 4 हजार 4 सौ 30 मिट्रिक टन का स्टॉक सरकार के पास है। इससे साफ जाहिर है कि यूरिया की कालाबाजारी हो रही है या बिहार सरकार यूरिया खाद की कृत्रिम संकट पैदा कर व्यापारियों को फायदा पहुंचा रही है। यह लोकल समस्या है। किसान परेशान हो रहे हैं। कड़ाके की ठंड में किसानअपना काम धाम छोड़ कर दिनभर लाइन में खड़े हैं और सरकार के कानों पर जूं तक नहीं रेंग रही है। केन्द्रीय उर्वरक मंत्री ने सांसद को बताया कि कृषि एवं किसान कल्याण विभाग भारत सरकार ने बिहार के मामले को विशेष मानते हुए पश्चिमी बदरगाहों से 16 रैक यानी लगभग 50 हजार मीट्रिक टन उर्वरक की आपूर्ति की अनुमति दी है। यूरिया की तेजी से निकासी के लिए यूरिया प्राथमिकता जारी की गई है। 22 दिसंबर तक बिहार को इस महीने 103 रैक यूरिया भेजी गई है। केंद्र सरकार ने सभी उर्वरक कंपनियों को सलाह दिया है की बिहार सरकार के अनुरोध के अनुसार बिहार के विशिष्ठ बिंदुओं पर उर्वरक को पहुंचाया जाय। किसी भी आपात स्थिति से निपटने और प्रयाप्त उपलब्धता सुनिश्चित करने के लिए केन्द्र सरकार रेलवे, राज्य सरकार और उर्वरक कंपनियों के साथ लगातार संपर्क में रहती है।