मंगलुरु शहर ने एक ऐतिहासिक और भव्य आयोजन का साक्षी बनते हुए बहुप्रतीक्षित बहुभाषी फिल्म ‘कोरगज्जा’ के संगीत लॉन्च का स्वागत किया. सुप्रसिद्ध निर्देशक सुधीर अट्टावर द्वारा निर्देशित यह फिल्म त्रिविक्रम सिनेमाज और सक्सेस फिल्म्स के बैनर तले निर्मित है. यह फिल्म कोरगज्जा जैसे पूजनीय लोकदेवता पर आधारित है, जो सच्चाई, न्याय और संरक्षण का प्रतीक माने जाते हैं. यह विषय पहली बार बड़े पर्दे पर जीवंत हुआ है.
‘कोरगज्जा’ को छह भारतीय भाषाओं - कन्नड़, मलयालम, हिंदी, तेलुगू, तमिल और तुलु - में बनाया गया है. यह फिल्म भारत की भाषाई और सांस्कृतिक विविधता को एक सूत्र में पिरोती है और इसे एक अखिल भारतीय सिनेमा के रूप में प्रस्तुत करती है.
ज़ी म्यूज़िक द्वारा जारी हुआ संगीत
फिल्म का संगीत ज़ी म्यूज़िक कंपनी द्वारा जारी किया गया है. दक्षिण भारत के प्रसिद्ध संगीतकार गोपी सुंदर ने इसका संगीत तैयार किया है, जबकि सभी गीतों के बोल निर्देशक सुधीर अट्टावर ने स्वयं लिखे हैं, जिन्हें साहित्य अकादमी से भी सम्मानित किया जा चुका है.
फिल्म में कबीर बेदी ने उद्यावर प्रांत के राजा की प्रभावशाली भूमिका निभाई है. दक्षिण की प्रसिद्ध अभिनेत्रियां भाव्या और श्रुति भी महत्वपूर्ण किरदारों में नजर आएंगी.
कला, आस्था और अभिव्यक्ति का संगम
मशहूर कोरियोग्राफर गणेश आचार्य ने फिल्म के एक खास डांस नंबर को कोरियोग्राफ और परफॉर्म किया है. वहीं प्रसिद्ध डांसर और अभिनेता संदीप सोपारकर एक अलग और प्रभावशाली भूमिका में नज़र आएंगे.
फिल्म के एक्जीक्यूटिव प्रोड्यूसर और एडिटर विद्याधर शेट्टी ने फिल्म को अनेक भाषाओं और कठिन लोकेशन में सफलतापूर्वक संपन्न कराने में अहम भूमिका निभाई.
निर्देशक सुधीर अट्टावर ने कहा, “कोरगज्जा के निर्माण में कई चुनौतियां आईं - लोकेशन की समस्याएँ, प्रोडक्शन से जुड़ी रुकावटें - लेकिन पूरी टीम की लगन और विश्वास ने इस सपने को साकार किया. यह फिल्म केवल एक कहानी नहीं, बल्कि आस्था, धैर्य और सांस्कृतिक पहचान का प्रतीक है.”
मंगलुरु में हुआ भव्य आयोजन
संगीत लॉन्च समारोह में देशभर से आए मीडिया प्रतिनिधियों, फिल्म और संगीत जगत की जानी-मानी हस्तियों ने भाग लिया. 31 गीतों वाले इस एलबम को श्रेया घोषाल, सुनिधि चौहान, शंकर महादेवन, जावेद अली, स्वरूप खान, शेरन प्रभाकर जैसे लोकप्रिय गायकों ने अपनी आवाज़ दी है.
भारतीय सिनेमा में नई पहचान
सशक्त कहानी, विविध भाषाओं में प्रस्तुति और मनमोहक संगीत से सजी ‘कोरगज्जा’ भारतीय सिनेमा में एक सांस्कृतिक मील का पत्थर साबित होगी. यह फिल्म आस्था, संस्कृति और सिनेमा के अदम्य उत्साह का उत्सव है.