चीन और पाकिस्तान पर होगी पैनी नजर, बॉर्डर पर भारतीय सेना ने तैयार किया ये बड़ा प्लान

    अंतरराष्ट्रीय सीमा पर चीन और पाकिस्तान की हरकतों का जवाब देने के लिए भारतीय सेना बड़ा प्लान तैयार कर रही है. सेना आधुनिक फास्ट पट्रोल बोट्स को सीमा पर तैनात करेगी.

    चीन और पाकिस्तान पर होगी पैनी नजर, बॉर्डर पर भारतीय सेना ने तैयार किया ये बड़ा प्लान

    Indian Army Preparation for Border: क्या होगा अगर भारत को जंग लड़नी पड़ जाए? अगर चीन से लड़ना पड़ा तो क्या पाकिस्तान भी इसमें कूदेगा? अगर पाकिस्तान से जंग हुई तो क्या चीन भी बीच में आ जाएगा? ऐसा हुआ तो भारत को एक नहीं, बल्कि दो दुश्मन देशों के साथ एक समय में जंग लड़नी पड़ जाएगी. जंग की बात इसलिए क्योंकि कांग्रेस सांसद राहुल गांधी (Rahul Gandhi) ने कुछ दिन पहले बड़ी बात कही थी. राहुल गांधी ने कहा था, 'चीन और पाकिस्तान साथ आ गए हैं, अगर युद्ध होता है तो किसी एक के साथ नहीं होगा, बल्कि दोनों के साथ होगा. इससे देश को बहुत नुकसान होगा.

    'भारत अभी बहुत कमजोर स्थिति में है'. राहुल गांधी का ये बयान ऐसे समय आया था जब कुछ दिन पहले ही अरुणाचल प्रदेश के तवांग सेक्टर में यांगत्से के पास भारत और चीन के सैनिकों में झड़प हुई थी. राहुल के इस बयान पर केंद्रीय मंत्री अनुराग ठाकुर (Anurag Thakur) ने पलटवार करते हुए कहा था, 'राहुल गांधी शायद अभी भी 1962 के दौर में जी रहे हैं. मैं राहुल से कहना चाहूंगा कि आपको बार-बार भारतीय सेना को अपमानित नहीं करना चाहिए. क्या कांग्रेस ने भारतीय सेना का अपमान करके मनोबल गिराने का फैसला कर लिया है? या फिर राहुल गांधी को भारतीय सेना पर भरोसा नहीं रहा?'

    सीमा पर तैनात बोट्स 

    अंतरराष्ट्रीय सीमा पर चीन और पाकिस्तान की हरकतों का जवाब देने के लिए भारतीय सेना बड़ा प्लान तैयार कर रही है. घुसपैठ और चीनी सेना की छिपकर की जाने वाली हरकतों से निपटने के लिए सेना ने आधुनिक फास्ट पट्रोल बोट्स और आठ लैंडिंग क्राफ्ट असॉल्ट को खरीदने का प्लान बना लिया है. इन बोट्स और क्राफ्ट्स को सीमा पर तैनात किया जाएगा. सर क्रीक (Sir Creek) और ब्रह्मपुत्र रिवर बेसिन (Brahmaputra River Basin) में इन क्राफ्ट और बोट्स के अलावा 118 इंटीग्रेटेड सर्विलांस ऐंड टारगेटिंग सिस्टम में भी लगाए जाएंगे.

    पैंगोंग त्सो (Pangong Tso) में सेना ने 12 फास्ट पट्रोल बोट (Fast Patrol boat) उतारी हैं. वहीं गोवा में इस तरह की नाव सेना ने उतारी हैं ताकि नौसेना के जहाजों पर जरूरी उपकरणों की सप्लाई की जा सके. ये नाव 20 जवानों को बहुत ही कम समय में एक जगह से दूसरी जगह पहुंचा देती हैं.आपको बता दें कि चीन ने लद्दाख के पैंगोंग लेक (Pangong Lake) इलाके में डिसइंगेजमेंट (disengagement) के बाद दो पुल बनाए हैं और कई सैनिको के शेल्टर (Shelter) भी बना दिए हैं.

    पैंगोंग त्सो में पहले से मौजूद है बोट 

    गलवान घाटी (Galwan valley)की झड़प के बाद भारत और चीन में जब तनाव बढ़ा तब भारतीय सेना ने पैंगोंग त्सो लेक में खास बोट उतार दी गई थीं. बता दें कि यह लेक (Lake) 134 किलोमीटर लंबी है और 13900 फीट की ऊंचाई पर है. अब सेना ने सोमवार को 6 बोट्स (6Boats) और आठ लैंडिंग क्राफ्ट (Eight landing craft) असॉल्ट के लिए रिक्वेस्ट फॉर इनफॉर्मेशन जारी किया है. इनको गुजरात में कच्छ के रन (Run) और ब्रह्मपुत्र रिवर  (Brahmaputra River) के साथ ही सुंदरबन डेल्टा (Sundarban delta) में तैनात किया जाएगा.

    सेना का कहना है कि ये फास्ट पट्रोल बोट (fast patrol boat) एक बार में 8 जवानों को ले जा सकती हैं. इसके अलावा सर्विलांस, अटैक और अन्य कई आधुनिक सुविधाएं मौजूद हैं. वहीं लैंडिंग क्राफ्ट असॉल्ट 35 जवानों को ले जा सकता है. किसी भी आपात स्थिति में जवान पलक झपकते पहुंच सकते हैं. जैसे कि गलवान घाटी जैसे मामलों में भारतीय जवान इस क्राफ्ट के जरिए बहुत कम समय में पहुंचकर अपने जवानों की मदद कर सकते थे. आरएफआई (Request for information) का जवाब देने की आखिरी तारीख 28 नवंबर है.