बिहार के सीवान में जहरीली शराब पीने से मरने वालों की संख्या 26 हुई, छपरा में 5 लोगों की मौत

    इस बीच विपक्षी राजद ने नीतीश कुमार सरकार पर हमला करते हुए सवाल उठाया है कि राज्य में शराबबंदी के बावजूद नकली शराब कैसे उपलब्ध कराई जा रही.

    बिहार के सीवान में जहरीली शराब पीने से मरने वालों की संख्या 26 हुई, छपरा में 5 लोगों की मौत
    बिहार का छपरा अस्पताल, जहां पीड़ितों को कराया गया था भर्ती | Photo- ANI

    छपरा (बिहार) : बिहार के सीवान के एसपी अमितेश कुमार के अनुसार, गुरुवार को यहां जहरीली शराब पीने से मरने वालों की संख्या बढ़कर 26 हो गई है, वहीं छपरा में 5 लोगों की जहरीली शराब पीने से मौत हुई है. पुलिस अधीक्षक कुमार आशीष ने बताया कि विशेष जांच दल का गठन किया गया है. तीन लोगों को गिरफ्तार किया गया है और आठ लोगों के खिलाफ एफआईआर दर्ज की गई है.

    इसके अलावा, स्थानीय चौकीदार और पंचायत बीट पुलिस अधिकारियों को भी निलंबित कर दिया गया है. विभागीय कार्रवाई के प्रभारी मशरक थाने के एसएचओ और मशरक जोन एएलटीएफ से स्पष्टीकरण मांगा गया है.

    जिला मजिस्ट्रेट मुकुल कुमार गुप्ता के अनुसार, भगवानपुर थाने के भगवानपुर एसएचओ और मद्य निषेध एएसआई के खिलाफ कानूनी कार्रवाई की जा रही है. मृतकों में से एक के रिश्तेदार ने बताया कि 15 अक्टूबर को शराब पीने के बाद उनके रिश्तेदार की तबीयत बिगड़ गई थी.

    रिश्तेदार ने बताया, "उन्हें 15 अक्टूबर को शराब पी थी और कल शाम से उनकी तबीयत बिगड़ने लगी. उन्हें कुछ भी दिखाई नहीं दे रहा था, इसके बाद हम उसे यहां अस्पताल लेकर आए."

    मामले की आगे की जांच चल रही है.

    शराबबंदी के बावजूद नकली शराब उपलब्ध होने पर राजद का नीतीश पर निशाना

    इस बीच विपक्षी राजद ने नीतीश कुमार सरकार पर हमला करते हुए सवाल उठाया है कि राज्य में शराबबंदी के बावजूद नकली शराब कैसे उपलब्ध कराई गई.

    आरजेडी नेता मृत्युंजय तिवारी ने कहा, "ज़हरीली शराब पीने से लोगों की जान चली गई है. यह बहुत ही दुखद और चिंता की बात है कि बिहार में शराबबंदी कानून लागू होने के बावजूद भी ज़हरीली शराब मिल रही है. हर बार होली और दिवाली के समय देखा जाता है कि किस तरह से ज़हरीली शराब से लोगों की मौत होती है. इसके लिए सीधे तौर पर एनडीए सरकार ज़िम्मेदार है. शराब माफियाओं को सरकार का संरक्षण प्राप्त है और जब तक उन्हें सरकार का संरक्षण प्राप्त है, तब तक शराबबंदी कानून का उल्लंघन इसी तरह होता रहेगा. इस एनडीए सरकार को इसकी कोई चिंता नहीं है. जब शराबबंदी कानून लागू है तो इस तरह से ज़हरीली शराब कैसे मिल रही है?"

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