प्रयागराज (उत्तर प्रदेश) : उत्तर प्रदेश के शहरी विकास विभाग के प्रमुख सचिव अमृत अभिजात ने बताया कि मंगलवार को महाकुंभ 2025 के पहले 'अमृत स्नान' के दौरान अब तक करीब 2 करोड़ से ज्यादा श्रद्धालुओं ने संगम में पवित्र डुबकी लगाई है.
अभिजीत ने बताया, "अब तक करीब 2 करोड़ लोग डुबकी लगा चुके हैं. शाम तक 2.50 करोड़ से अधिक लोग संगम में डुबकी लगा चुके होंगे."
यह भी पढे़ं : महाकुंभ : Apple के पूर्व सीईओ की पत्नी लॉरेन पॉवेल आज स्नान में ले रहीं हिस्सा, उनके शिविर से मिली ये अपडेट
डीजीपी ने दी लगातार आयोजन के निगरानी की जानकारी
उत्तर प्रदेश के डीजीपी प्रशांत कुमार ने बताया कि पुलिस लगातार स्थिति पर नजर रख रही है.
प्रशांत कुमार ने कहा, "चूंकि आज कई अखाड़ों के साधु पवित्र स्नान करते हैं, इसलिए इसे अमृत स्नान कहा जाता है. 8वां अखाड़ा अभी पवित्र स्नान कर रहा है. हमारे अधिकारी और जवान यह सुनिश्चित करने के लिए ड्यूटी पर हैं कि सब कुछ नियंत्रण में रहे. दोपहर 12 बजे के आसपास 1.60 करोड़ लोगों ने पवित्र स्नान किया."
"हम लगातार स्थिति पर नज़र रख रहे हैं. पुलिस वाहन और एम्बुलेंस मौके पर मौजूद हैं. थर्मल इमेज के ज़रिए हम रात के दौरान भीड़ को नियंत्रित करने में सक्षम थे. मकर संक्रांति के अवसर पर राज्य में कई जगहों पर श्रद्धालु शांतिपूर्वक पवित्र स्नान कर रहे हैं."
सीएम योगी ने अमृत स्नान को लेकर श्रद्धालुओं को दी बधाई
इस बीच, उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने मंगलवार को पहले 'अमृत स्नान' में भाग लेने वाले सभी श्रद्धालुओं को हार्दिक बधाई दी. एक्स पर एक पोस्ट में, सीएम योगी ने इस पवित्र आयोजन को भारत की सनातन संस्कृति और आस्था का जीवंत प्रमाण बताया.
उन्होंने कहा, "यह हमारी सनातन संस्कृति और आस्था का जीवंत स्वरूप है. आज लोक आस्था के महापर्व 'मकर संक्रांति' के पावन अवसर पर प्रयागराज में महाकुंभ-2025 के त्रिवेणी संगम पर प्रथम अमृत स्नान कर पुण्य अर्जित करने वाले सभी श्रद्धालुओं को बधाई!"
इससे पहले सीएम ने प्रदेशवासियों को मकर संक्रांति की शुभकामनाएं देते हुए कहा, "प्रदेशवासियों, सभी पूज्य संतों, श्रद्धालुओं और अनुयायियों को मकर संक्रांति की हार्दिक बधाई! यह जगत के पिता सूर्यदेव के प्रति कृतज्ञता व्यक्त करने का पर्व है."
सनातन धर्म के 13 अखाड़ों के साधु त्रिवेणी संगम पर पवित्र डुबकी लगा रहे हैं.
विदेशी श्रद्धालु ने न बयां किए जाना वाला अनुभव किया साझा
अपने तीसरे कुंभ मेले में हिस्सा लेने पर एक विदेशी श्रद्धालु ने कहा, "मैं इसे शब्दों में बयां नहीं कर सकती. यह मेरा तीसरा कुंभ है. मैं 2010 में हरिद्वार गई थी, 2013 में प्रयागराज गई थी और अब फिर से यहां आई हूं. यहां बहुत सारी चीजें जुनून से भरी हैं, लेकिन इसके पीछे कुछ ऐसा है जो नहीं बदलता... सौभाग्य से, यहां भीड़ को नियंत्रित करने के लिए बहुत सारे पुलिसकर्मी हैं... यहां, आप बस प्रवाह के साथ चलना सीखते हैं."
कुंभ को भारतीय सभ्यता की भव्यता का अनुभव बताया
महानिर्वाण अखाड़े के महामंडलेश्वर स्वामी चिदंबरानंद ने कुंभ को भारतीय सभ्यता की भव्यता का अनुभव बताया.
स्वामी चिदंबरानंद ने कहा, "हम भारतीय सभ्यता की भव्यता का अनुभव करते हैं. करोड़ों लोग हमारी संस्कृति का गौरव देख रहे हैं. हर जगह खुशी और उत्साह है. लोग ठंड को भूल गए हैं और संतों के दर्शन के लिए सुबह 2 बजे से इंतजार कर रहे हैं."
उन्होंने कहा, "यहां अविश्वसनीय दृश्य हैं. जो लोग जातियों में बांटने और हमारे धर्म को दोष देते हैं, उन्हें यहां आकर देखना चाहिए कि करोड़ों की भीड़ में कोई ब्राह्मण या शूद्र नहीं है, केवल हिंदू और हिंदू संस्कृति है."
कुंभ में हिस्सा लेने वाले एक विदेशी श्रद्धालु ने कहा, "महाकुंभ केवल भारत ही नहीं, बल्कि पूरी दुनिया के लिए एक अवसर है."
यह भी पढे़ं : इलेक्ट्रिक गाड़ियों का साल होगा 2025— 64% लोग EV चुन सकते हैं : Study